भिवानी, 24 अप्रैल (हप्र)
भिवानी जिले के दर्जनों गांवों में अब नहर का पानी पूरी मात्रा में पहुंचने की उम्मीद जगी है। सरकार द्वारा भिवानी, तोशाम व लोहारू के लगभग 7 दर्जन गांंवों को नहर के पानी की आपूर्ति करने वाली जुई कैनाल की अब सुध ली गई है। जुई नहर सहित अन्य नहरों की जीर्णोद्वार पर 152 करोड़ रूपये खर्च करके न केवल इनकी रिमॉडलिंग शुरू की गई है, बल्कि इसकी क्षमता भी बढ़ाई जा रही है।
भिवानी-महेंद्रगढ़ के सांसद धर्मबीर ने आज गांव मित्ताथल पहुंचकर वहां स्थित जुई नहर की रिमॉडलिंग कार्य की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि नहर की रिमॉडलिंग के बाद इसकी क्षमता लगभग दो गुणा हो जायेगी। उन्होंने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को कार्य की गुणवत्ता का विशेष ध्यान देने के भी आदेश दिये। जुई नहर की क्षमता 7 सौ क्यूसिक तय है लेकिन इसके निर्माण डिजाइन में कमी होने के कारण इसमें आमतौर पर 400 से 500 क्यूसिक पानी ही चल पाता है। जिस कारण भिवानी, तोशाम व लोहारू के दर्जनों गांव नहरी पानी की कमी झेल रहे हैं। मित्ताथल हेड से मौहला हेड तक 28 किलोमीटर लम्बाई में जुई नहर की रिमॉडलिंग शुरू हुई है। इस पर 60 करोड़ का खर्च आयेगा। जीर्णोद्धार के तहत न केवल नहर की सीसी लाइनिंग की जा रही है बल्कि इसे 10 फुट चौड़ा करके इसकी चौड़ाई भी बढ़ाई जा रही है। जिससे नहर की क्षमता भी बढ़नी तय है। जीर्णोद्धार के बाद जुई नहर में 970 क्यूसिक पानी चल पायेगा जो कि वर्तमान में चल रहे पानी से दो गुणा ज्यादा होगा।
बरसात में बढ़ाई जायेगी क्षमता: सिंचाई विभाग के अधिकारियों के अनुसार फ्री बोर्ड भी तैयार किया जा रहा है ताकि बरसात में इसकी क्षमता 1200 क्यूसिक तक हो सके। सिंचाई विभाग के इंजीनियर राहुल का कहना है कि फरवरी 2023 तक रिमॉडलिंग कार्य पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।