चंडीगढ़, 12 अप्रैल (ट्रिन्यू)
हरियाणा के शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुर्जर का कहना है कि दूसरी कक्षा से आठवीं तक में नियम-134ए लागू रहेगा। यानी इन कक्षाओं में 10 प्रतिशत सीटें गरीब परिवारों के बच्चों के लिए पहले की तरह रिजर्व रहेंगी। वहीं पहली कक्षा में शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत दाखिले होंगे। इसके तहत प्राइवेट स्कूलों में 25 प्रतिशत सीटों को गरीब परिवार के बच्चों के लिए आरक्षित किया है।
गुर्जर मंगलवार को चंडीगढ़ में मीडिया से बात कर रहे थे। इससे पूर्व सरकार ने नियम-134ए को खत्म करके आरटीई को लागू करने का फैसला लिया था। विपक्ष इसका विरोध कर रहा था। अब शिक्षा मंत्री ने यह नया खुलासा किया है। उन्होंने कहा कि जिन अभिवावकों की आमदनी कम है, उनके बच्चों को भी पहली कक्षा को छोड़कर दूसरी कक्षा से एडमिशन देंगे। उन्होंने कहा कि दूसरी से पांचवीं तक 700 रुपये फीस सरकार देगी। इसी तरह छठी से आठवीं तक 900 रुपये और 9वीं से 12वीं तक के बच्चों को 11 रुपये फीस के लिए मिलेंगे। इस योजना का लाभ उन बच्चों को दिया जाएगा, जिनके परिवारों की सालाना आय 1 लाख 80 हजार रुपये से कम है। 10वीं से 12वीं तक के बच्चों को 5 मई से टैबलेट देने की शुरुआत होगी। एक माह में ढाई लाख बच्चों को ये टैबलेट दिए जाएंगे।
अस्थाई नहीं, स्थाई मान्यता की कोशिश
स्कूलों की अस्थाई मान्यता से जुड़े सवाल पर शिक्षा मंत्री ने कहा कि सरकार की कोशिश है कि प्राइवेट स्कूलों को अस्थाई की बजाय स्थाई मान्यता दी जाए। इसके लिए स्कूलों को मौका दिया है कि वे नियमों को पूरा करें। मौजूदा समय मे 1200 अस्थायी मान्यता प्राप्त स्कूल हैं। संस्कृति मॉडल स्कूलों के पाठ्यक्रम को लेकर उन्होंने कहा कि इन स्कूलों में अंग्रेजी के साथ हिंदी माध्यम में भी पढ़ाई होगी।