सोनीपत, 11 जुलाई (हप्र)
यमुना के उफान के बीच गांव मिमारपुर के पास टापू पर कई लोग फंस गए। इनमें से कई लोगों को ग्रामीणों ने किसी तरह से सुरक्षित बाहर निकाल लिया, लेकिन एक व्यक्ति फंसा रह गया। सूचना मिलने के बाद प्रशासन की टीम मौके पर पहुंची। बोट से टापू पर फंसे उत्तरप्रदेश के कुताना गांव के नफीस को बाहर निकाला।
हथिनीकुंड बैराज से करीब तीन लाख 60 हजार क्यूसिक पानी छोड़े जाने से यमुना में जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। इसे देख प्रशासन की तरफ से यमुना के साथ लगते गांवों में मुनादी करवाकर लोगों को इसकी सूचना दी गई। यमुना के साथ-साथ करीब दो दर्ज गांव है। प्रशासन की तरफ से लोगों से यमुना से उचित दूरी बनाएं रखने की अपील की गई। कोई भी व्यक्ति यमुना में उतरने का प्रयास नहीं करें। उन्होंने लोगों से सहयोग की अपील करते हुए कहा कि प्रशासन किसी भी प्रकार की स्थिति से निपटने में सक्षम है।
प्रशासन ने भी प्रत्येक स्थिति से निपटने की तैयारी शुरू कर दी है। सिंचाई विभाग के अधिकारियों को एहतियातन के तौर पर 50 हजार रेत के कट्टे भी तैयार किए गए हैं। पोकलेन मशीनें व जेसीबी तथा बोट इत्यादि संसाधनों की व्यवस्था भी की गई है। कुछ गांवों में टेंट लगवाकर विशेष रूप से व्यवस्था की गई है।
बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित
प्रशासन की तरफ से जिला राजस्व विभाग में बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किया हुआ है, जिसके दूरभाष नंबर 0130-2221590 पर किसी भी समय फोन करके सहायता प्राप्त की जा सकती है।
एहतियात के तौर पर यमुना से सटे टोकी गांव को खाली कराया गया है। 60 परिवारों को सुरक्षित स्थान पर बेजा गया है।
चरखी दादरी (निस) : लगातार हो रही बारिश के चलते बाढ़ जैसी स्थित से निपटने के लिए सिंचाई विभाग ने पूरी प्लानिंग तैयार कर ली है। किसी भी क्षेत्र में जलभराव नहीं होने दिया जाएगा। इसके लिए विभाग द्वारा व्यापक व पुख्ता प्रबंध किए जा चुके हैं। विभाग के सभी अधिकारी व कर्मचारियों की ड्यूटियां लगा दी गई हैं। संभावित क्षेत्रों पर मोटर और पंप का इंतजाम कर दिया गया है। सिंचाई विभाग के चीफ इंजीनियर बिजेंद्र सिंह नारा ने बौंद कलां सिंचाई रेस्ट हाउस में अधिकारियों की बैठक ली।
उपायुक्त ने लिया व्यवस्थाओं का जायजा
डीसी ललित सिवाच ने मंगलवार को यमुना में बढ़े जलस्तर के दृष्टिगत यमुना का निरीक्षण भी किया। उन्होंने मिमारपुर घाट और बड़ौली सहित कई घाटों पर पहुंचे और वहां की व्यवस्था जायजा लिया। सिवाच ने बताया कि यमुना का जलस्तर बढ़ा है, लेकिन सोनीपत में स्थिति पूर्णरूप से नियंत्रण में है। प्रशासन भी पूरी तरह से मुस्तैद है। खतरे वाली कोई बात नहीं है। उन्होंने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को निरंतर गश्त करने के निर्देश दिए ताकि समय रहते स्थिति को काबू किया जा सके। उपायुक्त सिवाच ने लोगों से अपील की कि वे नदी व नहरों से दूरी बनाए रखे। इन दिनों में नदी और नहरों में जलस्तर अधिक रहता है। इसलिए कोई भी जोखिम नहीं उठाएं। दौरे के दौरान उनके साथ अन्य अधिकारी भी मौजूद रहे।
भैंस को बाहर निकालने चक्कर में डूबा बुजुर्ग
घसौली गांव के निकट यमुना नदी के किनारे अपने पशुओं को चराने गया बुजुर्ग भैंस को बचाने के चक्कर में यमुना के साथ लगते नाले में बह गया। गांव घसौली निवासी 62 वर्षीय बुजुर्ग बालकिशोर मंगलवार की सुबह अपनी भैंसों को चराने के लिए गांव के निकट यमुना नदी के पास ले गया था। वहां एक नाले में यमुना का पानी अलग से बह रहा था। अचानक उसकी एक भैंस यमुना के नाले के पास जाने लगी तो उसे बचाने के चक्कर में बालकिशोर का पैर फिसल गया और वह नाले में बह गया। ग्रामीणों ने इसकी सूचना कंट्रोल रूम में दी। जिसके बाद प्रशासनिक अधिकारी व थाना बड़ी इंचार्ज आशु राव मौके पर पहुंचे। कुछ ही देर बाद बुजुर्ग का शव कुछ ही दूरी पर नाले में ही पड़ा मिला।