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समालखा मंडी में पिछले 10 दिन से खरीद ठप, सचिव का नोटिस भी बेअसर

पीआर धान की सरकारी खरीद के पांच दिन शेष
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सरकार ने प्रदेश में पीआर धान की खरीद के लिए 15 नवंबर की तिथि निर्धारित की हुई है, लेकिन समालखा की अनाज मंडी में पिछले 10 दिन से धान का एक दाना भी नही खरीदा गया। समालखा में पीआर धान की खरीद 1 नवंबर से बंद है। गनीमत यह है कि पीआर धान की आवक फिलहाल बंद है और करीब 3000 क्विंटल धान बिना खरीद के मंडी में पड़ा हुआ है, जिसे कोई खरीदार नहीं मिल रहा है। इतना ही नहीं 1800 क्विंटल धान का उठान भी बाकी है। मार्केट कमेटी सचिव के बार-बार नोटिस देने के बावजूद खरीद नहीं हो रही है, जिससे किसानों व आढ़तियों में रोष व्याप्त है। समालखा मार्केट कमेटी से प्राप्त आंकड़ों के मुताबिक अब तक मंडी में 66063 हजार क्विंटल पीआर धान की आवक हुई है, जिसमें से 3000 क्विंटल धान बगैर खरीद के पड़ा है।

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पीआर धान की खरीद न होने पर समालखा मंडी आढ़ती एसोसिएशन के प्रधान बलजीत सिंह ने कहा कि करनाल में हुए धान घोटाले का असर है। उन्होंने बताया कि सरकार व मिल मालिकों के धान खरीद का लक्ष्य पूरा हो चुका है, इसलिए धान की दुर्गति हो रही है। वहीं, खरीद एजेंसी हैफेड के स्थानीय मैनेजर आज़ाद सिंह ने भी पीआर की खरीद न होने का कारण मिलर्स का न होना बताया है। उन्होंने बताया कि अधिकारियों को सूचित कर दिया गया है।

इस संदर्भ में समालखा मार्केट कमेटी सचिव सविता जैन ने बताया कि समालखा मंडी में आखिरी खरीद 31 अक्तूबर को की गई थी, उसके बाद खरीद बंद पड़ी है। मंडी में करीब 3000 क्विंटल पीआर धान की खरीद होनी है, जिसके बारे उन्होंने एसडीएम को भी अवगत कराया हुआ है तथा खरीद एजेंसी को भी कई नोटिस दिए जा चुके हैं।

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