पिहोवा, 31 मार्च (निस)
भारी व्यवस्था के बीच पिहोवा में लगे चैत्र चतुर्दशी मेले के अवसर पर आज लगभग 4 लाख से भी अधिक लोगों ने मां सरस्वती के पवित्र जल में स्नान किया तथा जाने अनजाने में किए गए पापों के लिए क्षमा मांगी। तीर्थयात्रियों ने अपने मृतक पूर्वजों की आत्मिक शांति के लिए पिंडदान किया तथा उन्हें तृप्त करने हेतु पीपल पर जल चढ़ा कर उनकी प्यास बुझाई । अनेक यात्रियों ने परेशान कर रही आत्माओं से अपना छुटकारा लेने हेतु धागा लपेट कर उन्हें पीपल पर बांध दिया। इतना ही नहीं यात्रियों ने अपने पितरों को स्वर्ग की राह दिखाने के लिए सरस्वती तीर्थ पर दीपक भी जलाए। तीर्थ यात्रियों ने भगवान कार्तिकेय के मंदिर में जाकर तेल चढ़ाया तथा बाबा दरगाईशाह मंदिर पर जाकर मिट्टी के घोड़े चढ़ाए । यात्रियों ने समय की कोई प्रवाह न करते हुए तीर्थयात्री रात 1:00 बजे ही सरस्वती सरोवर में स्नान करने लगे तथा अपने पितरों की अक्षय मोक्ष की कामना करते हुए उनके लिए पिंडदान किया। इस बार तीर्थ यात्रियों के चेहरों पर काफी रौनक रही।
उल्लेखनीय है कि पिहोवा मेले के दौरान हरियाणा, पंजाब, हिमाचल, जम्मू, दिल्ली व अनेक स्थानों से तीर्थयात्री आते हैं। पंजाब से मेले में आये अधिकांश यात्री सिख समुदाय से होते हैं। इस कारण इस मेले को हिंदू-सिख एकता का प्रतीक भी कहा जाता है।