जींद, 20 दिसंबर (हप्र)
प्रदेश सरकार द्वारा हरियाणा के मैडीकल कालेजों में एमबीबीएस कोर्स के लिए 40 लाख रुपये फीस करने पर रविवार को जींद में आईएपी (इंडियन एकेडमी आफ पैडिट्रीशियन) ने ऐतराज जताया है। यहां आयोजित पत्रकारवार्ता में आईएपी के प्रदेशाध्यक्ष डा. सुरेश जैन ने कहा कि प्रदेश सरकार के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती देने पर आईएपी की प्रदेश कार्यकारिणी गंभीरता से विचार कर रही है। इस मसले पर जरूरत पड़ी तो आईएपी संघर्ष करने से भी पीछे नहीं हटेगी। डा. सुरेश जैन ने कहा कि प्रदेश सरकार के इस नए फैसले से डाक्टरी केवल पैसे वालों के लिए रह जाएगी। गरीब और ग्रामीण क्षेत्र के प्रतिभाशाली बच्चे कभी भी एमबीबीएस नहीं कर पाएंगे और उनका डाक्टर बनने का सपना सदा के लिए अधूरा रह जाएगा।
डा. जैन ने कहा कि प्रदेश सरकार 40 लाख रुपये की कैश सिक्योरिटी तो मांग रही है लेकिन एमबीबीएस करने के बाद बच्चों को जाॅब की गारंटी नहीं दे रही।
डा. सुरेश जैन ने कहा कि सरकार का यह फैसला कितना गलत है, इसे इस बात से समझा जा सकता है कि हरियाणा के बच्चों ने गोवा और महाराष्ट्र में एमबीबीएस में दाखिले लेने शुरू कर दिए हैं। इन राज्यों में एमबीबीएस के लिए ऐसा कोई नियम नहीं है। मौके पर आईएपी जींद के अध्यक्ष डा.रमेश बंसल और जिला सचिव डा.दीपिका गर्ग भी मौजूद थे।