ट्रिब्यून न्यूज सर्विस
चंडीगढ़, 21 दिसंबर
हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (एचएसवीपी) की जमीनों हो रहे कब्जों को लेकर सरकार ने कड़ा नोटिस लिया है। अब कब्जों को लेकर न केवल मासिक रिपोर्ट मुख्यालय में भेजनी होगी बल्कि इसके लिए संबंधित ईओ (कार्यकारी अधिकारी) की जवाबदेही तय की गई है। जिस भी ईओ के एरिया में अतिक्रमण होगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। कोर्ट में लंबित मामलों को भी जल्द निपटाने को कहा है।
बादशाहपुर से निर्दलीय विधायक राकेश दौलताबाद ने यह मुद्दा विधानसभा में उठाया। दौलताबाद ने सरकार को समर्थन दिया हुआ है और सरकार ने उन्हें चेयरमैन भी बनाया है। उन्होंने सदन में दो-टूक कहा कि सबसे अधिक भ्रष्टाचार एचएसवीपी में ही है। यहां बिना पैसे कोई काम नहीं होता। प्रदेश के वे किसान दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं, जिनकी जमीनों का सरकार ने अधिग्रहण किया और उन्हें अभी तक मुआवजा तक नहीं मिला। प्रदेश के किसानों के 24 हजार 601 करोड़ रुपये अभी तक बकाया हैं।
गुरुग्राम में एचएसवीपी के 40 से अधिक सेक्टरों में अथॉरिटी की जमीन पर कब्जे को लेकर भी उन्होंने सरकार को घेरा। यह विभाग सीएम मनोहर लाल खट्टर के पास है। उनके हवाले से कृषि मंत्री जयप्रकाश दलाल ने जवाब में स्वीकार किया कि अकेले गुरुग्राम के इन सेक्टरों की 663 एकड़ से अधिक जमीन पर अतिक्रमण किया हुआ है। इसमें से 466 एकड़ से अधिक जमीन ऐसी है, जिन पर विभिन्न अदालतों में मामले लंबित हैं।
196 एकड़ से अधिक भूमि पर अभी भी लोगों ने अवैध रूप से कब्जा किया हुआ है। इस वर्ष सरकार ने अतिक्रमण की गई 172 एकड़ के लगभग भूमि को अपने कब्जे में भी लिया है। किसानों के बकाया भुगतान पर दलाल ने कहा कि एचएसवीपी ने जमीनों की ऑक्शन करने का निर्णय लिया है। राकेश दौलताबाद ने कहा कि अगर ऑक्शन करके जमीन को बेचा जाता है तो किसानों का पूरा भुगतान हो सकता है लेकिन अधिकारियों की लापरवाही की वजह से अथॉरिटी भ्रष्टाचार का अड्डा बन चुकी है।
दलाल ने कहा कि वर्ष की नीलामी जून-2021 से 7 दिसम्बर, 2021 के दौरान 5 हजार 761 करोड़ रुपये की संपत्ति की नीलामी की गई। कुल 1075 करोड़ से अधिक पैसा अभी तक मिल भी चुका है। उन्होंने कहा कि एचएसवीपी अतिक्रमण हटाने के बाद अनुपयोगी या अतिक्रमित भूमि की योजना/पुनर्योजना कर रहा है। इस नियोजित भूमि का निस्तारण ई-नीलामी के माध्यम से राजस्व उत्पन्न करने तथा लंबित दावों के निपटारे के लिए किया जा रहा है।