चंडीगढ़, 6 जनवरी (ट्रिन्यू)
प्रधानमंत्री ‘कुसुम’ योजना यानी पीएम किसान उर्जा सुरक्षा उत्थान महाभियान के तहत सोलर पंप से सिंचाई करने वाला हरियाणा, देश का पहला राज्य बन गया है। सूक्ष्म सिंचाई को बढ़ावा देने के मामले में हरियाणा सबसे आगे है। पिछले साल प्रदेश में 25897 किसानों के यहां सोलर पंप सेट लग चुके हैं। 13800 पर काम चल रहा है। सरकार ने पहले चरण में 50 हजार सोलर पंप सेट राज्य में लगाने का लक्ष्य रखा है।
कुल लागत का महज 25 प्रतिशत पैसा ही किसानों को देना होता है। बाकी 75 प्रतिशत सरकार की ओर से सब्सिडी मिलती है। बृहस्पतिवार को चंडीगढ़ में प्रतीकात्मक उद्घाटन कर सीएम मनोहर लाल खट्टर ने किसानों को सोलर पंप प्रदान किए। सौर ऊर्जा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य करने वालों को सम्मानित किया गया। उन्होंने सोलर वाटर पंपिंग प्रोग्राम की पुस्तिका तथा किसानों के लिए उपयोगिता पुस्तिका का विमोचन किया।
इस दाैरान बिजली मंत्री रणजीत सिंह भी मौजूद रहे। सभी जिलों के डीसी और नव एवं नवीकरणीय विभाग के अधिकारी वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये जुड़े। सीएम ने कहा कि 50 हॉर्स पावर से कम के सभी बिजली ट्यूबवेल कनेक्शन सोलर पंप सेट में बदले जाएंगे। इस मौके पर सीएम ने सौर पंप लगाने वाली हिसार की महिला किसान कृष्णा व त्रिलोक सिंह व नूहं की शशी आहूजा व ईसाक खान से सीधा संवाद किया।
सीएम ने जिला उपायुक्तों को निर्देश दिए कि वे सूक्ष्म सिंचाई योजना को बढ़ावा देने के लिए विशेष अभियान चलाएं और सरकार की हर खेत को पानी देने की योजना को लोगों तक पहुंचाए।
भाजपा सरकार ने इसे गंभीरता से लिया और सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने का रोडमैप तैयार किया। सभी सरकारी भवनों पर सौर ऊर्जा प्रणाली अनिवार्य रुप से लगाई है, जिससे वहां की ऊर्जा की आवश्यकता पूरी हो सके और अतिरिक्त ऊर्जा को ग्रिड में दिया जा सके। प्रदेश में कृषि योग्य लगभग 80 लाख एकड़ भूमि है। इसमें से 75 प्रतिशत क्षेत्र में सिंचाई हो पाती है। शेष भूमि पर सिंचाई के लिए वर्षा पर निर्भर रहना पड़ता है। उन्होंने कहा कि कृषि क्षेत्र में हर वर्ष किसानों को लगभग 6500 करोड़ की सबसिडी दी जाती है। सौर ऊर्जा को अपनाने से सबसिडी का भार भी कम होगा और पानी की बचत होगी। इससे किसानों का डीजल बचेगा और आय में भी वृद्धि होगी।
बिजली मंत्री रणजीत सिंह ने कहा कि बिजली क्षेत्र में बेहतर कार्य करने की जो नीवं मुख्यमंत्री ने रखी थी। उसी के फलस्वरूप हम बेहतर कर पा रहे हैं। आईटी के साथ पावर का तीसरा स्थान है, जिससे शत-प्रतिशत लोग जुड़े हैं। केंद्र सरकार ने इस वर्ष 22 हजार सोलर पंप लगाने का लक्ष्य दिया है।