2047 का मास्टर प्लान बनाने में जुटी सरकार, लोगों से मांगे सुझाव
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी पिछले दिनों इस संस्थान की बैठक भी ले चुके हैं। सीएम के निर्देशों के बाद ही संस्थान ने दस्तावेज पर काम शुरू कर दिया है। इसके लिए आम लोगों से सुझाव मांगे गए हैं। स्वर्ण जयंती संस्थान का कहना है कि विजन दस्तावेज तैयार करने की प्रक्रिया को अधिक सहभागी और व्यापक बनाने के लिए जनपरामर्श सर्वेक्षण में नागरिकों की सक्रिय भागीदारी के लिए राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र (एनआईसी) द्वारा एक पोर्टल विकसित किया है।
पोर्टल के माध्यम से नागरिक अपने विचार, सुझाव और अपेक्षाएं सीधे साझा कर सकते हैं। सरकार ने स्पष्ट किया है कि लोगों के अहम सुझावों को इस विजन का हिस्सा भी बनाया जाएगा। संस्थान ने इस पोर्टल का लिंक एनआईसी द्वारा बीएएमएस, वित्त विभाग, मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ), मुख्य सचिव, सभी जिला उपायुक्तों और हरियाणा राज्य के सभी विश्वविद्यालयों के कुलपतियों की वेबसाइट पर साझा किया जाएगा।
यहां बता दें कि इस बार के बजट में मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने 2047 के लक्ष्य को ध्यान में रखते हुए ‘डिपार्टमेंट ऑफ फ्यूचर’ बनाने का ऐलान किया था। सरकार इस नये विभाग का गठन कर चुकी है। आईएएस अमनीत पी. कुमार को इस विभाग की आयुक्त एवं सचिव नियुक्त किया है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी का कहना है कि 2047 तक विकसित भारत के संकल्प को पूरा करने के लिए हरियाणा अपनी जनसंख्या और आबादी के हिस्से से कहीं अधिक योगदान देगा।
‘भविष्य सक्षम’ का प्लान
डिपार्टमेंट ऑफ फ्यूचर के गठन के पीछे सबसे बड़ा मकसद हरियाणा को ‘भविष्य सक्षम’ बनाना है। यह नया डिपार्टमेंट आगामी चुनौतियों, विषमताओं और आर्थिक विकास की नई संभावनाओं को भांप कर दूसरे सभी विभागों को नीतिगत सुझाव देगा और समय रहते उनकी क्षमता भी बढ़ाएगा। जलवायु परिवर्तन के जोखिम तथा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, क्वांटम कंप्यूटिंग और रोबोटिक्स जैसी नई-नई तकनीकें कई क्षेत्रों, नौकरियों, उद्यमों और व्यापारों को प्रभावित करेंगी। इन्हीं चुनौतियों से निपटने में भी डिपार्टमेंट ऑफ फ्यूचर अहम भूमिका निभाएगा।
टॉस्क फोर्स भी गठित
नायब सरकार ने मिशन हरियाणा-2047 नामक एक उच्च स्तरीय टॉस्क फोर्स का भी गठन किया है। इस टॉस्क फोर्स को बड़ी जिम्मेदारी सरकार ने सौंपी है। टॉस्क फोर्स को 2047 तक प्रदेश में युवाओं के लिए 50 लाख नये रोजगार पैदा करने के साथ-साथ प्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद को 1 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर तक पहुंचाने का टारगेट दिया है। मुख्यमंत्री की ओर से इस संदर्भ में सभी जिलों से रिपोर्ट भी मांगी जा चुकी है। यही नहीं, मिशन भी वित्त वर्ष 2025-26 में ही कुछ जिलों के लिए अपनी योजनाओं का ‘प्रूफ ऑफ कॉन्सेप्ट’ बनाकर भेजेगा। इसके बाद इन पर काम शुरू होगा।