सिविल अस्पताल में लगे चार इन्वर्टर, 24 रिचार्जेबल बल्ब
प्रदीप साहू/हमारे प्रतिनिधि
चरखी दादरी, 18 दिसंबर
स्वास्थ्य विभाग के लाख दावों के बीच दादरी के सिविल अस्पताल में बिजली के पुख्ता प्रबंध नहीं होने पर मोबाइल व दीये की रोशनी में डिलीवरी करने के मामले में खुलासा हुआ है। प्राथमिक जांच में सामने आया कि डिलीवरी के समय अस्पताल के कुछ कर्मचारियों ने पीछे से बिजली की लाइन काट दी थी। माना जा रहा है कि जल्द ही जांच कर दोषी कर्मचारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाएगी। दैनिक ट्रिब्यून में समाचार प्रकाशित होने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने संज्ञान लिया है। सीएमओ ने अपने स्तर पर जांच भी शुरू कर दी है और कर्मचारियों पर गाज गिरना तय है। अस्पताल में विभाग ने चार इन्वर्टर और विशेष प्रकार के 24 रिचार्जेबल बल्ब लगा दिए हैं। इनका चार घंटे का बैकअप होगा। इन विशेष बल्बों के लगने से बिजली की लाइन काटने पर तुरंत जानकारी मिलेगी।
बता दें कि ‘दैनिक ट्रिब्यून’ ने 16 दिसंबर को “फोन की लाइट, दीया जलाकर करवाई डिलीवरी’ शीर्षक से प्रमुखता से प्रकाशित किया था। सिविल अस्पताल में बिजली नहीं होने पर एक महिला की अंधेरे में मोबाइल व दीया की रोशनी में डिलीवरी की वीडियो में अस्पताल प्रबंधन पर भी आरोप लगाए गए थे। विभागीय सूत्रों के अनुसार स्वास्थ्य विभाग के हेडक्वार्टर द्वारा इस मामले में सीएमओ को तुरंत कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।
उच्चाधिकारियों को लिखा पत्र
सीएमओ डा. गौरव भारद्वाज ने बताया कि बिजली का स्थाई प्रबंधों को लेकर उच्चाधिकारियों को पत्र लिखा गया है। वहीं हेडक्वार्टर के निर्देशों पर चार इन्वर्टर लगा दिए हैं और विशेष प्रकार के 24 रिचार्जेबल बल्ब अलग-अलग स्थानों पर लगाए गए हैं। साथ ही स्टाफ सदस्यों को स्पेयर में बल्ब उपलब्ध कराएं हैं ताकि एमरजेंसी में उनका उपयोग में लाया जा सके।
स्वास्थ्य मंत्री को लेना चाहिए संज्ञान
पूर्व मंत्री सतपाल सांगवान ने बताया कि उनके कार्यकाल में 100 बेड का विशेष सुविधाओं से युक्त आधुनिक अस्पताल बनवाया है। आज दुख होता है कि अस्पताल में सुविधाएं नहीं होने से मरीजों को खासी परेशानियां हो रही हैं। अस्पताल में बिजली के साथ-साथ अन्य सुविधाओं को लेकर स्वास्थ्य मंत्री को कड़ा संज्ञान लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि डिलीवरी के समय बिजली काटने के मामले की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए और दोषियों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए।