चंडीगढ़, 28 मार्च (ट्रिन्यू)
कांग्रेस का सदस्यता अभियान पूरा होने में 3 दिन बचे हैं, लेकिन नेताओं को सदस्यता के लिए फार्म नहीं मिल रहे। सबसे अधिक दिक्कत पूर्व सीएम भूपेंद्र हुड्डा खेमे से जुड़े नेताओं को आ रही है। पार्टी ने इस बार डिजिटल तरीके से सदस्यता अभियान शुरू किया है, लेकिन अधिक लोड होने से सिस्टम हांफ चुका है। ऐसे में फार्मों के लिए हुड्डा कैंप से जुड़े नेता चंडीगढ़ में प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय के चक्कर काट रहे हैं। सोमवार को भी जब फार्म नहीं पहुंचे तो यह मामला हुड्डा तक पहुंचाया गया। बताते हैं कि हुड्डा ने इस मामले में हरियाणा मामलों के प्रभारी विवेक बंसल तथा हरियाणा में संगठनात्मक चुनावों के लिए नियुक्त किए गए राज्य निर्वाचन अधिकारी (पीआरओ) ताराचंद भगोरा से बात की। बंसल और भगोरा के हस्तक्षेप के बाद फोन तो जरूरत खनखनाए, लेकिन फार्म फिर भी नहीं मिल पाए। बताते हैं कि ऑफलाइन की बजाय ऑनलाइन सदस्यता पर जोर है, इसलिए फार्म भी नहीं मिल पा रहे। पार्टी नेतृत्व ने संगठनात्मक चुनावों का शेड्यूल जारी किया हुआ है। इसके तहत हरियाणा सहित सभी राज्यों में सदस्यता अभियान चल रहा है। इसकी आखिरी तारीख 31 मार्च है। अब तक डिजिटल तरीके से ही मेंबरशिप चल रही थी, लेकिन गांवों में सबसे अधिक परेशानी आ रही है। मुद्दा पिछले दिनों नयी दिल्ली में पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की बैठक में उठा। इसके बाद पार्टी नेतृत्व ऑफलाइन सदस्य बनाने पर भी राजी हो गया, लेकिन अब फार्म नहीं मिलने की वजह से परेशानी बढ़ गई है।
विवेक बंसल ने सैलजा से की बात
बताते हैं कि विवेक बंसल ने प्रदेशाध्यक्ष कुमारी सैलजा से इस पर बात की है। खबरें हैं कि सदस्यता के लिए एक सीमा तक फाॅर्म जारी करने के निर्देश दिए हैं। एक हुड्डा समर्थक विधायक ने बताया कि पांच दर्जन के करीब विधायकों व पूर्व विधायकों सहित पार्टी प्रत्याशियों ने सदस्यता फार्म हासिल करने के लिए पार्टी कार्यालय में कई बार प्रतिनिधि भेजे हैं। विवाद के बीच तय किया है कि विधायक को ढाई हजार, एक्स-एमएलए को 1250 तथा पार्टी प्रत्याशियों को एक बार में 500 से अधिक फाॅर्म नहीं मिलेंगे। अहम बात यह है कि इस फैसले के बाद भी नेताओं को फाॅर्म नहीं मिले।