रोहतक, 3 अक्तूबर (हप्र)
केंद्रीय राज्य शिक्षा मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने कहा कि शिक्षा का उद्देश्य किताबी ज्ञान के साथ-साथ व्यावहारिक और रोजगारपरक भी होना चाहिए। उन्होंने कहा कि नयी राष्ट्रीय शिक्षा नीति में विद्यार्थियों को उन्मुख शिक्षा प्रदान कराई जाएगी, जिससे देश का युवा उन्नति की राह पर अग्रसर होगा। अन्नपूर्णा देवी रविवार को ब्रह्मलीन महंत चांदनाथ योगी की चौथी पुण्यतिथि पर बाबा मस्तनाथ विश्वविद्यालय में आयोजित कार्यक्रम को संबोधित कर रही थीं। इससे पूर्व उन्होंने बाबा मस्तनाथ मठ के मठाधीश महंत बालकनाथ योगी के साथ बाबा मस्तनाथ रेजिडेंशियल स्कूल के प्रशासनिक भवन का शिलान्यास किया। अनावरण के बाद स्कूल का निरीक्षण किया और बाबा मस्तनाथ समाधिस्थल पर मत्था टेक आशीर्वाद लिया। इस अवसर पर महंत चांदनाथ योगी के जीवनयात्रा पर आधारित मासिक पत्रिका ‘मस्तनाथ वाणी’ व साइंस विभाग के इंटरनेशनल जर्नल का भी अनावरण किया गया। मठ अस्थल बोहर के मठाधीश एवं अलवर-सांसद एवं कुलाधिपति महंत बालकनाथ योगी ने कहा कि देश को आत्मनिर्भर व बहुआयामी बनाने के लिए गुरुजनों की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। आज हम यहां जो कुछ भी देख रहे है यह सब हमारे गुरु महंत चांदनाथ योगी के अथक प्रयासों का ही परिणाम है। हमें उनके द्वारा बताए गये मार्ग का अनुसरण करना चाहिए। रोहतक से सांसद डॉ अरविंद शर्मा ने कहां की महंत चांदनाथ योगी ने अपने जीवनकाल में धर्म एवं शिक्षा का जो ज्वलंत उदाहरण प्रस्तुत किया है, वह साधारण मनुष्य के लिए संभव नहीं है। इस अवसर पर पूर्व मंत्री एवं भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष मनीष कुमार ग्रोवर, बाबा मस्त नाथ विश्वविद्यालय की कुलाधिपति प्रतिनिधि डॉ. अंजना राव, कुलपति प्रो. रमेश कुमार यादव, महामंडलेश्वर, बाबा कपिलपुरी जी, बाबा कर्णपुरी, सतीश नांदल, नरेन्द्र खट्टर, राजेश जैन आदि ने भावांजलि अर्पित की।