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पैरों के दर्द को न करें नजरअंदाज : डा. चंदन नारंग

फतेहाबाद, 23 जनवरी (हप्र) पूरे शरीर का भार पैर उठाते हैं, ऐसे में पैरों में किसी भी तरह के दर्द को नजरअंदाज कर व्यक्ति अपनी रोजमर्रा की गतिविधियों में कठिनाई पैदा कर सकता है या आपको ताउम्र अपाहिज की तरह...

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फतेहाबाद, 23 जनवरी (हप्र)

पूरे शरीर का भार पैर उठाते हैं, ऐसे में पैरों में किसी भी तरह के दर्द को नजरअंदाज कर व्यक्ति अपनी रोजमर्रा की गतिविधियों में कठिनाई पैदा कर सकता है या आपको ताउम्र अपाहिज की तरह लाचार भी बना सकता है। पैर के दर्द के सटीक कारण पता करने के लिए चिकित्सा मूल्यांकन आवश्यक है, ताकि दर्द का उचित उपचार आरंभ किया जा सके। यह बात जाने-माने पैर एवं टखने, एड़ी के स्पेशलिस्ट डाक्टर डा. चंदन नारंग ने आज फतेहाबाद में आयोजित प्रेस काॅन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कही। वह पैरों में दर्द, पैर सुन्न होना, गोखरू बनियन, पैरों में कान्र्स और कैलोसिटीज (अट्टन/छाले जैसे दिखने वाली त्वचा) तथा सूजन के साथ एकाएक अंगूठे/अंगुलियों में बदलाव आने जैसी समस्याओं के इलाज में आई नवीनतम उपचार तकनीक संबंधी जागरूक करने के लिए शहर में पहुंचे थे।

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फोर्टिस अस्पताल मोहाली के पैर एवं टखने विभाग के एसोसिएट कंस्लटेंट डा. चंदन नारंग ने कहा कि एड़ी में दर्द के मरीजों की तादाद बढ़ती जा रही है तथा यह समस्या पुरुषों की बजाय महिलाओं को ज्यादा परेशान करती हैं।

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उन्होंने कहा कि पैरों में दर्द का अहम कारण वजन बढ़ना, लंबे समय तक खड़े रहना या कठोर व्यायाम, ऊंची एड़ी के जूते, चप्पल डालने या शारीरिक गतिविधि भी हो सकती है। उन्होंने बताया कि पैर और टखने की बीमारी जन्मजात या न्यूरोमस्कुलर दोष के कारण हो सकती है। स्ट्रोक, नसों में चोट लगने के कारण भी मरीज इस समस्या से पीड़ित हो सकते हैं।

उन्होंने बताया कि पैर और टखने में 26 हड्डियां, 33 जोड़ और 100 से अधिक टेंडन मौजूद होते हैं, ऐसे में पैर में मोच या चोट लगने पर भी डाक्टरी परामर्श के साथ सही समय पर सटीक इलाज करवाना चाहिए।

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