दिल्ली ट्रेड फेयर में दिखा हरियाणा की स्टार्टअप पॉलिसी का रंग
चंडीगढ़, 22 नवंबर (ट्रिन्यू)
युवाओं के स्वरोजगार और उनके स्वावलंबन से जुड़ी हरियाणा सरकार की स्टार्टअप योजना अब रंग दिखाने लगी है। सरकार की योजना का लाभ उठा कर हरियाणा के युवा अब एंटरप्रेन्यूोर बनने की राह में अपने कदम बढ़ा रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘मेक इन इंडिया कैंपेन’ को बढ़ावा देने के मकसद से शुरू की इस योजना की सफलता की मिसाल अब हरियाणा के कई युवा बन कर सामने आ रहे हैं।
नयी दिल्ली के प्रगति मैदान में आयोजित इंडिया इंटरनेशनल ट्रेड फेयर (आईआईटीएफ) 2023 में हरियाणा से जुड़े कई ऐसे स्टार्टअप्स को जगह दी है, जिसमें प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों से एमएसएमई से जुड़े छोटे व्यवसायियों ने हिस्सा लिया। इनका स्टार्टअप आम आदमी को पर्यावरण संरक्षण और प्रदूषण से निजात दिलाने के साथ ही ट्रैफिक जाम से छुटकारा दिलाने में भी मददगार साबित होंगे। साथ ही, स्वास्थ्य को भी बेहतर बनाने में मदद करेगा। हरियाणा मंडप में आधुनिक तकनीक से बनी ई-साइकिल को भी शामिल किया है, जो स्वास्थ्य के साथ-साथ पर्यावरण सहेजने में भी मददगार होगी। हरियाणा में बने ई-साइकिलिंग का यह प्रोजेक्ट स्टार्टअप विकास यादव लेकर आए हैं। विकास इससे पहले जापान की राजधानी टोक्यो में बहुचर्चित कंपनी ‘टेस्ला’ में नौकरी कर चुके हैं। कोविड महामारी के दौरान उनकी नौकरी चली गई। इसके बाद भारत लौटकर उन्होंने अपने गृह स्थान रेवाड़ी में खुद का स्टार्टअप शुरू करने की ठानी। उस समय के हालात और आम जनमानस के स्वास्थ्य को देखते हुए उन्होंने ई-साइकिल बनाने का निश्चय किया। मेक इन इंडिया के स्लोगन से प्रेरित होकर विकास ने ‘मेक इन हरियाणा’ को लक्ष्य बनाया। उन्होंने पैनासोनिक बैटरी सेल से बैटरी पैक तैयार किया, जो ई-साइकिल के लिए परफेक्ट है। यह ई-साइकिल सभी वर्गों को देखते हुए तैयार किया है। ई-साइकिल में ग्रामीण क्षेत्र में 50 से 60 किलोमीटर जाने के लिए मात्र 3 रुपये का खर्च आता है। वहीं शहरी क्षेत्र में यह खर्च 5 रुपये तक आता है। उन्होंने बताया कि यह भारत की पहली साइकिल कंपनी है, जिसके पास ई-साइकिल में फ्रंट ड्राइव, मिड ड्राइव और रेयर ड्राइव के विकल्प हैं।
विकास ने बताया कि उन्होंने एक्सपोर्ट के लिए सैंपल कोरिया, नीदरलैंड और साउथ अफ्रीका में भेजे हैं। उनके इस स्टार्टअप को विदेशों में भी बहुत अच्छा रिस्पांस देखने को मिला है। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार की व्यापारी हितैषी नीतियों एवं योजनाओं के कारण ही यह संभव हो पाया है।