जितेंद्र अग्रवाल/हप्र
अम्बाला शहर, 2 मई
अम्बाला शहर नगर निगम की सोमवार को हुई विशेष बजट बैठक हंगामे की भेंट चढ़ गई। बैठक की शुरुआत में वार्ड 4 से पार्षद विजय टोनी चौधरी सदन में अनिल विज जिंदाबाद, भ्रष्टाचार मुर्दाबाद आदि नारे लगाते हुए पहुंचे। बैठक में अवैध कमर्शियल काॅलोनी को एनडीसी देने, अधिकारियों के तानाशाहीपूर्ण रवैये, भ्रष्टाचार आदि के खुले आरोप लगाए गए लेकिन अधिकारी दबी जुबान में अपना बचाव करने में लगे रहे। बैठक की अध्यक्षता मेयर शक्ति रानी शर्मा ने की।
इस मौके पर आयुक्त वीरेंद्र लाठर सहित नगर निगम के वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे। शुरू में ही मेयर ने पिछली बैठक को स्थगित किए जाने का कारण मिनट बुक में लिखवाया। उन्होंने स्पष्ट किया कि रुबी सौदा के मामले को लेकर उनके पास आज तक भी कोई जवाब नहीं पहुंचा, लेकिन जवाब लेने गए पुलिस अधिकारी ने वापस नहीं आकर सदन की अवमानना की है। बैठक में सत्ताधारी हजपा के राजेश मेहता, जसबीर सिंह, सरदूल सिंह, कांग्रेस के मिथुन वर्मा, मेघा गोयल, भाजपा की ओर से संदीप सचदेवा, मनीष आनंद मन्नी, हितेष जैन, सुरेश सहोता, मोनिका मल आदि ने अनेक विषय उठाकर निगम की व्यवस्था को कठघरे में खड़ा कर दिया। संदीप सचदेवा ने कहा कि नगर के विकास और भ्रष्टाचार के मामले में सभी भाजपा पार्षद मेयर के साथ हैं।
अधिकारी पर धमकी देने का लगाया आरोप
टोनी चौधरी ने एक अनुबंधित सफाई अधिकारी पर धमकी देने का आरोप लगाया तो सेनेटरी इंस्पेक्टर ने पार्षद पर सभी 550 कर्मियों को बदमाश बोलने का आरोप लगा दिया। कई पार्षदों सहित मेयर ने टोनी चौधरी को अपनी सीट पर बैठकर अपना विषय उठाने को कहा तो वे इस बात पर अड़ गए कि यदि मेयर यह आश्वासन दें कि भ्रष्टाचार के मुद्दे पर जांच होगी तभी वह सीट पर बैठेंगे अन्यथा फर्श पर मौन बैठकर बैठक की कार्रवाई में हिस्सा लेंगे। लेकिन मेयर ने कहा कि वे इस तरह से चेयर को निर्देश नहीं दे सकते तो टोनी चौधरी सिर पर कागज की कैप लगाए और हाथ में हनुमान जी का चित्र व भ्रष्टाचार के खिलाफ पोस्टर लेकर सदन के फर्श पर बैठ गए और बैठक के संपन्न होने तक वहीं बैठे रहे। इसी दौरान सफाई अधिकारी के पक्ष में अनेक लोग परिसर के बाहर जमा होकर पार्षद के खिलाफ नारेबाजी करने लगे। बाद में टोनी ने नारेबाजी कर रहे लोगों के समक्ष जाकर अपनी स्थिति को स्पष्ट किया और कथित रूप से माफी मांगी तब जाकर वे लोग परिसर से हटे।