हरीश भारद्वाज/हप्र
रोहतक, 27 अप्रैल
रोहतक नागरिक अस्पताल की लापरवाही का खामियाजा आंखों के मरीजों को भुगतना पड़ रहा है। नागरिक अस्पताल में मोतियाबिंद की सर्जरी में इस्तेमाल होने वाले लेंस की कमी बनी हुई है, जिससे मरीजों के ऑपरेशन समय पर नहीं हो पा रहे। हालांकि रोजमर्रा में कुछ ऑपरेशन जरूर किए जा रहे हैं मगर इसके लिए लेंस शहर के दानवीरों द्वारा उपलब्ध करवाए जा रहे हैं। बताया जा रहा है कि अस्पताल प्रशासन लेंस खरीदने के लिए टेंडर करना भूल गया। टेंडर करने की याद अस्पताल प्रशासन को उस समय आई जब स्टॉक में सारे लेंस खत्म हो गए।
सूत्रों की माने तो अस्पताल में लेंस की किल्लत पिछले एक महीने से चल रही है। आलम यह है कि अस्पताल प्रशासन को लेंस के लिए दानी सज्जनों पर निर्भर होना पड़ रहा है। लेंस की कमी के वजह से मरीजों को आपरेशन की तारीख नहीं दी जा रही है जबकि पहले ऑपेरशन कुछ ही दिन में कर दिए जाते थे। नाम न छापने की शर्त पर कुछ मरीजों ने बताया कि वह मोतियाबिंद की सर्जरी के लिए पिछले कई दिनों से चक्कर काट रहे हैं, मगर डॉक्टर का कहना है कि लेंस की कमी चल रही है इसलिए तुरन्त आपरेशन नहीं हो पाएगा। जैसे ही लेंस आएंगे वैसे ही सूचित कर दिया जाएगा। सूत्रों का कहना है कि वैसे तो लैंस की आपूर्ति सरकार द्वारा की जाती है परन्तु जब लेंस वेयरहाउस में उपलब्ध नहीं होते तो जिला प्रशासन को अपने स्तर पर लेंस खरीदने की अनुमति है बशर्ते वेयरहाउस उन्हें ये लिख कर दें कि स्टॉक में लेंस उपलब्ध नहीं है। शहर के प्रतिष्ठित समाजसेवी गोपाल कृष्ण का कहना है कि उन्हें कुछ मरीजों व अस्पताल के कर्मचारियों से पता लगा था कि लेंसों की कमी के कारण ऑपरेशन नहीं हो पा रहे हैं। उन्होंने तुरंत सीएमओ से मिलकर उन्हें 80 लेंस उपलब्ध करा दिये।
लैंस की कर्मी नहीं : सिविल सर्जन
सिविल सर्जन डॉ अनिल बिरला का कहना है कि लेंस मंगवा लिए गए हैं, लेंस की कोई कमी नहीं है। सभी मरीजो के ऑपेरशन किये जा रहे हैं। साथ ही उन्होंने यह भी माना कि सामाजिक संस्थाएं भी लेंस दान कर रही हैं।