13 साल बाद लौटेगा स्टेट गेम्स का जलवा, ‘महाबली’ बनेगा नई ऊर्जा का प्रतीक
कुरुक्षेत्र की प्रेरणा से सजा लोगो
इस बार के स्टेट गेम्स का लोगो कुरुक्षेत्र की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक पहचान से प्रेरित है। लोगो में ‘शंख’ को प्रमुख प्रतीक के रूप में शामिल किया गया है। शंख न केवल हरियाणा की पौराणिक धरोहर है, बल्कि यह ऊर्जा, संकल्प और विजय का प्रतीक भी माना जाता है। लोगो यह संदेश देता है कि अब हरियाणा में खेलों का शंखनाद गूंजने वाला है।
2 से 8 नवंबर तक होगा आयोजन
27वें हरियाणा स्टेट गेम्स का आयोजन 2 नवंबर से 8 नवंबर तक किया जाएगा। इस दौरान राज्यभर के हजारों खिलाड़ी हिस्सा लेंगे। आयोजन में एथलेटिक्स, कुश्ती, कबड्डी, बॉक्सिंग, हॉकी, फुटबॉल, शूटिंग, तैराकी, तीरंदाजी, वॉलीबॉल समेत दो दर्जन से अधिक अधिक खेल विधाएं शामिल होंगी। राज्य के हर जिले में तैयारियां जोरों पर हैं। आयोजन स्थलों को खेल गांव की तर्ज पर सुसज्जित किया जा रहा है।
कॉट्स
लगभग 13 साल बाद हो रहे स्टेट गेम्स सिर्फ खेल आयोजन नहीं, बल्कि हरियाणा की खेल आत्मा का उत्सव हैं। हमने लोगो में कुरुक्षेत्र का शंख इसलिए लिया है, क्योंकि यह नई शुरुआत और जीत की घोषणा का प्रतीक है। ‘महाबली’ हमारे खिलाड़ियों की ताकत और जोश का चेहरा बनेगा। हमारा लक्ष्य है कि हर खिलाड़ी के भीतर यह भावना जागे - मैं महाबली हूं, और हरियाणा मेरा गर्व है। आयोजन के दौरान खिलाड़ियों के सम्मान समारोह, सांस्कृतिक प्रस्तुतियां और खेल जागरूकता अभियान भी चलाए जाएंगे। हमारा मकसद हर गांव और स्कूल से नया खिलाड़ी तैयार करना है, जो आने वाले वर्षों में देश का गौरव बने।
-जसविंद्र सिंह कप्तान मीनू बेनीवाल, एचओए अध्यक्ष