नूंह/मेवात, 8 मई (निस)
मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के राष्ट्रीय संयोजक खुर्शीद राजाका ने गौतस्करों के खिलाफ हो रही सामाजिक पंचायतों का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि पंचायत करने का उद्देश्य तभी सफल होगा जब मुस्लिम समाज ‘गौमांस’ खाने से परहेज़ करेगा। इसलिये गौतस्करों का विरोध करने के साथ पहले मुस्लिम समाज गौमांस खाना बंद करे और मुस्लिम समाज के धर्मगुरु, जन प्रतिनिधि और समाजसेवी खुलकर इस्लाम और कानून की रोशनी में लोगों को गौहत्या के खिलाफ जागरूक करें। आज जनप्रतिनिधियों को वोटबैंक की राजनीति के लिये गौतस्करों की हिमायत करने के बजाय पुलिस प्रशासन का सहयोग करना चाहिए वर्ना मेवात अपराध की भट्टी में जलकर खाक हो जायेगा। खुर्शीद राजाका ने बताया कि 2015 में फिरोजपुर झिरका में मुस्लिम राष्ट्रीय मंच ने मुस्लिम गौपालक सम्मेलन में गौहत्या को रोकने के लिये मुस्लिम गौपालकों को सम्मानित किया था। कार्यक्रम में मुस्लिम गौपालकों ने मुख्यमंत्री मनोहर लाल और आरएसएस के इन्द्रेश कुमार को दो गाय दान में देकर गौसेवा के क्षेत्र में नया इतिहास लिखा था, लेकिन सम्मेलन के तुरन्त बाद गठित गौसेवा आयोग में किसी मुस्लिम गौपालक को सदस्य भी नहीं बनाया और न ही मुस्लिम समाज में जागरूकता अभियान चलाया।