कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय का 34वां दीक्षांत समारोह, मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को मिली डॉक्टरेट की मानद उपाधि
विनोद जिंदल/हप्र
कुरुक्षेत्र, 18 फरवरी
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को मंगलवार को कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय (कुवि) के 34वें दीक्षांत समारोह में डॉक्टर ऑफ लिटरेचर (डी.लिट) की मानद उपाधि से अलंकृत किया गया। उन्हें यह सम्मान सामाजिक और राजनीतिक क्षेत्र में उनके विशेष योगदान के लिए प्रदान किया गया। इसरो के पूर्व अध्यक्ष डॉ. एस. सोमनाथ को भी विज्ञान और अंतरिक्ष क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्यों के लिए यह उपाधि तथा ‘गोयल पीस प्राइज’ से सम्मानित किया गया।
प्रदेश के राज्यपाल और कुवि के कुलाधिपति बंडारू दत्तात्रेय ने समारोह में दोनों विभूतियों को उपाधि प्रदान की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री सैनी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का विजन है कि जब भारत अपनी आजादी के 100 वर्ष पूरे करेगा, तब हम एक विकसित राष्ट्र होंगे। इस लक्ष्य को हासिल करने में युवाओं की महत्वपूर्ण भूमिका होगी।
राज्यपाल दत्तात्रेय ने विद्यार्थियों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि यह समारोह सिर्फ एक उपाधि प्राप्त करने की औपचारिकता नहीं, बल्कि एक नयी यात्रा की शुरुआत है। युवाओं को अब समाज के उत्थान में योगदान देना होगा।” उन्होंने विश्वविद्यालय को ए-प्लस-प्लस ग्रेड और एनआईआरएफ की 41वीं रैंकिंग प्राप्त करने पर भी बधाई दी। दीक्षांत समारोह में लगभग दो हजार विद्यार्थियों को डिग्री, 130 पीएचडी धारकों को उपाधि तथा 91 विद्यार्थियों को गोल्ड मेडल और मेरिट सर्टिफिकेट प्रदान किए गए। इस अवसर पर राज्यपाल दत्तात्रेय, मुख्यमंत्री सैनी, शिक्षा मंत्री महिपाल ढांडा, इसरो वैज्ञानिक डॉ. सोमनाथ एस, कुवि के कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा समेत कई गणमान्य उपस्थित रहे।
हर 20 किमी पर कॉलेज खोलने की नीति सफल : सीएम
मुख्यमंत्री ने शिक्षा के क्षेत्र में राज्य सरकार की उपलब्धियां गिनाते हुए कहा कि एक दशक पहले तक हरियाणा में बेटियों को उच्च शिक्षा के लिए दूर जाना पड़ता था, लेकिन हमारी सरकार ने हर 20 किमी पर कॉलेज खोलने का संकल्प लिया, जिससे बेटियों को शिक्षा का पूरा अवसर मिल सके। पिछले 10 वर्षों में 79 नए कॉलेज खोले गए, जिनमें से 30 सिर्फ लड़कियों के लिए हैं।
दत्तात्रेय बोले-एआई में एक करोड़ नौकरियां संभावित
राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने कहा कि देश में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) के क्षेत्र में एक करोड़ नौकरियों की संभावनाएं हैं। उन्होंने विद्यार्थियों को इस दिशा में शोध और नवाचार को प्राथमिकता देने की सलाह दी। इस अवसर पर शिक्षा मंत्री महिपाल ढांडा, विधायक शक्ति रानी शर्मा, उपायुक्त नेहा सिंह, पुलिस अधीक्षक वरुण सिंगला, आयुष विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. करतार सिंह धीमान, संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. रमेश भारद्वाज, बागवानी विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. रमेश कुमार मल्होत्रा सहित कई शिक्षाविद, प्रशासक और विद्यार्थी उपस्थित थे।