Tribune
PT
Subscribe To Print Edition About the Dainik Tribune Code Of Ethics Advertise with us Classifieds Download App
search-icon-img
Advertisement

जींद में बहुउद्देश्यीय स्वास्थ्य कर्मियों ने काले बिल्ले लगाकर किया काम

मांगों पर अमल नहीं होने पर जताया रोष

  • fb
  • twitter
  • whatsapp
  • whatsapp
featured-img featured-img
जींद में मंगलवार को काले बिल्ले लगाकर सिविल अस्पताल में काम करते बहुउद्देश्यीय स्वास्थ्य कर्मचारी।-हप्र
Advertisement
मानी गई मांगों पर अमल में देरी होने से नाराज बहुउद्देश्यीय स्वास्थ्य कर्मचारियों ने बुधवार को काले बिल्ले लगाकर काम किया। कर्मचारियों ने कहा कि यदि उनकी मांग नहीं मानी गई तो वे अपना आंदोलन तेज करेंगे। एसोसिएशन के जिला सचिव गुरनाम सिंह, उपप्रधान नीलम, वित्त सचिव अमरजीत, सहसचिव राजेश कुमार तथा सलाहकार शक्ति ने बताया कि स्वास्थ्य कर्मियों ने संसाधनों के अभाव में 25 अक्तूबर से स्वास्थ्य कार्यक्रमों की ऑनलाइन रिपोर्ट तथा अन्य किसी भी प्रकार की ऑनलाइन एंट्री के कार्य बंद कर दिये हैं। इससे पहले स्वास्थ्य कर्मी 6 नवंबर को सिविल सर्जन कार्यालय के सम्मुख धरना व प्रदर्शन भी कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि हमारी मानी गईं मांगों पर अमल नहीं होने पर 29 जनवरी को एनएचएम के एमडी के पंचकूला कार्यालय के बाहर अनशन करेंगे। उन्होंने कहा कि एसोसिएशन द्वारा उच्च अधिकारियों को पत्र लिखने के बावजूद भी कुछ अधिकारियों ने इंटरनेट युक्त लैपटाप उपलब्ध करवाने की बजाय कर्मचारियों को स्वास्थ्य कार्यक्रम की रिपोर्ट अपने निजी मोबाइल पर ऐप डाउनलोड करने के विवश किया जा रहा है। इसके साथ स्वास्थ्य कर्मचारियों विशेषकर महिला कर्मचारियों को लाइव लोकेशन भेजने के लिए बाध्य किया जा रहा है। कुछ अधिकारी अपने निजी स्वार्थ के लिए सरकार को गुमराह करके कर्मचारियों को परेशान करने पर तुले हैं, जिसके कारण स्वास्थ्य कर्मचारियों मे भारी रोष है। कर्मचारी नेताओं ने बताया कि विभाग मोबाइल फोन पर घंटों ऑनलाइन कार्य करने के लिए बाध्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि कर्मचारियों के साथ जबरदस्ती काम करवाया जा रहा है। एनएचएम के अंतर्गत कार्यरत महिला एमपीएचडब्लू को नियमित कर्मचारी की भाति 4200 ग्रेड पे नहीं दिया गया। नए नॉर्म के नाम पर राज्य के शहरी क्षेत्रों में बहुउद्वेशीय स्वास्थ्य कर्मचारियों के समाप्त किए गए पदों को बहाल नहीं किया गया तो आंदोलन और बड़ा होगा।

Advertisement

Advertisement

Advertisement
×