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Gurugram Air Quality Index : गुरुग्राम में वायु गुणवत्ता खराब स्तर पर पहुंची, ग्रैप-2 लागू और सड़कों पर पानी का छिडक़ाव

नगर निगम गुरुग्राम द्वारा नियमों की अनुपालना तुरंत सख्ती से लागू करने के निर्देश और निर्माण स्थलों पर निगरानी बढ़ेगी

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नयी दिल्ली स्थित इंडिया गेट के पास मंगलवार को पानी की बौछार करती एंटी स्मॉग गन। - मानस रंजन
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Gurugram Air Quality Index : राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में वायु प्रदूषण लगातार बढऩे के बाद वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (जीआरएपी) के स्टेज-2 (बहुत खराब श्रेणी, एक्यूआई 301-400) को तत्काल प्रभाव से लागू करने का आदेश जारी किया है। यह आदेश 19 अक्टूबर को जारी किया गया, जिसके तहत हरियाणा, दिल्ली, उत्तर प्रदेश और राजस्थान के एनसीआर जिलों में सभी एजेंसियों को प्रदूषण नियंत्रण उपायों को सख्ती से लागू करने को कहा गया है।

निगमायुक्त प्रदीप दहिया ने बुधवार को बताया कि नगर निगम गुरुग्राम क्षेत्र में आयोग द्वारा जारी आदेशों को तुरंत प्रभाव से लागू कर दिया गया है। सभी नागरिकों से अपील की गई है कि वे नियमों की अनुपालना सुनिश्चित करें। आईएमडी और आईआईटीएम की रिपोर्ट के अनुसार, दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण स्तर लगातार बढ़ रहा है। 19 अक्टूबर को दिल्ली का औसत एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) 302 रिकॉर्ड किया गया, जो बहुत खराब श्रेणी में आता है। आगामी दिनों में स्थिति और बिगडऩे की संभावना को देखते हुए स्टेज-2 लागू किया गया है।

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स्टेज-2 के तहत ये होंगे उपाय

स्टेज-2 के तहत सडक़ों की दैनिक मैकेनिकल/वैक्यूम आधारित सफाई, सडक़ों पर प्रतिदिन या एक दिन छोडक़र पानी का छिडक़ाव और डस्ट सप्रेसेंट का उपयोग, निर्माण एवं विध्वंस (सी एंड डी) स्थलों पर धूल नियंत्रण उपायों की सख्त निगरानी, होटल, रेस्टोरेंट और खुले खाने के स्थानों पर कोयला व लकड़ी का प्रयोग पूरी तरह प्रतिबंधित, डीजल जेनरेटर का उपयोग केवल अत्यावश्यक सेवाओं में, जैसे सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट आदि में ही होगा, निजी वाहनों के प्रयोग को हतोत्साहित करने के लिए पार्किंग शुल्क में बढ़ोतरी, आरडब्ल्यूए द्वारा सुरक्षा कर्मियों को हीटर की व्यवस्था ताकि खुले में कचरा या बायोमास न जलाया जाए, अक्टूबर से जनवरी के बीच धूल उत्पन्न करने वाली निर्माण गतिविधियों से परहेज आदि गतिविधियां शामिल हैं।

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सडक़ों से लेकर निर्माण स्थलों तक निगरानी बढ़ेगी

आयोग ने सभी नगर निकायों, विकास प्राधिकरणों, परिवहन विभागों, पुलिस, और प्रदूषण नियंत्रण बोर्डों को निर्देश दिया है कि वे धरातल पर निगरानी बढ़ाएं। किसी भी उल्लंघन पर तुरंत कार्रवाई करें। साथ ही नागरिकों से अपील की गई है कि वे नियमों का पालन करें और प्रदूषण घटाने में सहयोग करें। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में वायु प्रदूषण की गंभीर स्थिति को देखते हुए अब प्रशासन ने सख्ती शुरू कर दी है। सडक़ों से लेकर निर्माण स्थलों तक निगरानी बढ़ेगी और नियमों का उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई की जाएगी। सरकार और प्रशासन का लक्ष्य है कि समय रहते इन उपायों से वायु गुणवत्ता को सुधार कर लोगों को राहत दी जा सके।

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