आशा वर्कर्स ने मंत्री कार्यालय के बाहर दिया घंटों धरना, सौंपा ज्ञापन
आशा वर्कर्स बडख़ल चौक पर एकत्रित हुईं और दोपहर करीब 12.30 बजे रैली की शक्ल में मंत्री कार्यालय पहुंचीं। कार्यालय के बाहर पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की, जिसके चलते दोनों पक्षों में तीखी नोंकझोंक हुई। आक्रोशित आशाओं ने वहीं सड़क पर धरना देकर घंटों नारेबाजी की और अपनी मांगों पर तत्काल कार्रवाई की मांग की। बाद में आशाओं का ज्ञापन मंत्री के निजी सचिव को सौंपा गया।
प्रदर्शन में राष्ट्रीय कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष सुभाष लांबा, सीटू गुरुग्राम के प्रधान सुरेश नौहरा और विभिन्न जिलों के प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया। वक्ताओं ने आरोप लगाया कि सरकार आशाओं के महत्वपूर्ण कार्यों की अनदेखी कर रही है। उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी समेत कई अभियानों में अहम भूमिका निभाने के बावजूद आशा वर्कर्स को न स्थायी दर्जा मिला है, न ही मानदेय में बढ़ोतरी। आशाओं ने चेतावनी दी कि मांगों को पूरा न किया गया तो आंदोलन और तेज किया जाएगा।
