बालकिशन यादव
मेडिकल और क्लीनिकल लैब टेक्नोलॉजी के फील्ड में व्यापक श्रेणी में ब्लड बैंक टेक्नोलॉजी आती है। ब्लड बैंक तकनीशियन, आमतौर पर फ्लेबोटोमिस्ट के रूप में प्रशिक्षित किए जाते हैं और यह ब्लड को इकट्ठा करने और लेबलिंग करने का काम करते हैं। ब्लड बैंक तकनीशियन आमतौर पर मेडिकल प्रयोगशालाओं और ब्लड बैंक्स में काम करते हैं। ये डोनर से ब्लड कलेक्ट करके स्टोर भी करते हैं। इसके अलावा ब्लड का टाइप, और कलेक्ट किया ब्लड सुरक्षित है कि नहीं, ब्लड में स्वस्थ अणुओं के स्तर का भी प्रशिक्षण करते हैं। ब्लड बैंक तकनीशियन का कोर्स नेशनल स्किल डेवलपमेंट कारपोरेशन के तहत आता है और इस कोर्स को करके आप एक अच्छा भविष्य तो बना ही सकते हैं साथ ही प्रधानमंत्री के मिशन कौशल भारत, कुशल भारत में भी साथ दे सकेंगे।
नेचर ऑफ़ वर्क
ब्लड बैंक तकनीशियन की ज्यादातर गतिविधियां कार्यालय आधारित होती हैं। वह ब्लड बैंक्स और प्रयोगशालाओं में ही काम करते हैं। डोनर से ब्लड लेकर उसकी बारीकी से रिसर्च करना, उस ब्लड का टाइप पता करने और खासकर वह ब्लड कितना सुरक्षित है यह देखना, आपातकालीन समय के लिए उस ब्लड को स्टोर करने तक का काम ब्लड तकनीशियन का ही होता है। इसके अलावा हॉस्पिटल्स की लैब में पेशेंट्स के ब्लड की जांच करना और उससे संबंधी जानकारियों को इकठ्ठा करना ही ब्लड बैंक तकनीशियन का काम होता है। इन सभी कार्य के साथ-साथ तकनीशियन ब्लड का रिकॉर्ड भी तैयार करता है। जो व्यक्ति इस फील्ड में अपने करिअर को आगे बढ़ाना चाहते हैं उनमें स्वतंत्र रूप से काम करने की क्षमता होनी आवश्यक है और साथ ही उनमे एक अच्छा विश्लेषणात्मक कौशल भी होना चाहिये।
कोर्स, योग्यता एवं अवसर
इच्छुक व्यक्ति का किसी भी संकाय वा किसी भी मान्यताप्राप्त बोर्ड से 12वीं पास होना अनिवार्य है। इन कोर्स के दौरान अभ्यर्थियों को प्रैक्टिकल ट्रेनिंग में खासा ध्यान रखा जाता है, जिसमें उन्हें तरह-तरह के ब्लड सैंपल्स की जांच करना सिखाया जाता है और इसके अलावा ब्लड की हर एक जरूरी तत्व को समझाया जाता है। साथ ही कोर्स के दौरान आपातकालीन स्थिति या किसी भी तरह की आपदा की स्थिति में किस तरह से निपटा जाए और कैसे उस स्थिति में काबू पाया जाए वह भी सिखाया जाता है। इस फील्ड में आप एसएससी के द्वारा भी परीक्षा देकर किसी भी सरकारी पद के लिए आवेदन कर सकते है।
इस कोर्स में डिप्लोमा लेने के बाद हर राज्य में सरकारी व गैर सरकारी विभाग में नौकरी के कई नए अवसर खुल जाएंगे। इसके अलावा अभ्यर्थी प्राइवेट हॉस्पिटल्स या प्राइवेट लैब में भी काम करके खासा पैसा कम सकता है। वर्तमान समय की अगर बात की जाए तो मेडिकल लैब की मार्केट में भरमार है और बड़ी-बड़ी कंपनियां जैसे डॉ पैथ लैब और रैनबैक्सी की तो हर एक शहर में लैब है। इसमें ब्लड बैंक डिपार्टमेंट में ऐसे लोगों की अच्छी डिमांड है। इसके अलावा सरकारी अस्पतालों के ब्लड बैंक्स में भी नौकरी मिलने की संभावना बनी रहती है। डिप्लोमा और सर्टिफिकेट कोर्स करने के बाद आप बतौर तकनीशियन किसी भी ब्लड बैंक में काम कर सकते हैं। और अनुभव के आधार पर आप रिसर्च करके ब्लड बैंक स्पेशलिस्ट भी बन सकते हैं। इन्हें शुरुआत में 10 से 15 हजार तक वेतन मिलता है। बाद में तजुर्बे के आधार पर उनके वेतन में इजाफा होता चला जाता है। साथ ही खुद का काम शुरू करने एवं प्राइवेट लैब में जाने का ऑप्शन बना रहता है।
प्रमुख संस्थान
दिल्ली पैरामेडिकल एंड मैनेजमेंट इंस्टीट्यूट, नयी दिल्ली
www.dpmiindia.com
महर्षि मार्कंडेश्वर यूनिवर्सिटी, अम्बाला, हरियाणा
www.mmumullana.org
शिवालिक इंस्टीट्यूट ऑफ पैरामेडिकल टेक्नोलॉजी, चंडीगढ़
www.shivalikinstitute.org
इंडियन मेडिकल इंस्टीट्यूट ऑफ नर्सिंग, जालंधर, पंजाब
www.iminursing.in