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जोखिम भी जुड़े हैं ज्यादा पैदल चलने से

कुछ किलोमीटर के दायरे में यदि आपका ऑफिस है तो पैदल चलकर जाना बेहतर है, जिससे एक्सरसाइज भी होती है। हालांकि सप्ताह में एक या दो दिन ही ऐसा करना किसी हद तक सही है, लेकिन यदि आपको रोज...

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कुछ किलोमीटर के दायरे में यदि आपका ऑफिस है तो पैदल चलकर जाना बेहतर है, जिससे एक्सरसाइज भी होती है। हालांकि सप्ताह में एक या दो दिन ही ऐसा करना किसी हद तक सही है, लेकिन यदि आपको रोज पैदल ऑफिस जाने के लिए इतनी दूरी तय करनी पड़ती है, तो इसके नुकसान भी हो सकते हैं।

पैदल चलना एक बहुत आसान और फायदेमंद एक्सरसाइज है। वॉक करने के लिए बस अच्छे शूज के अलावा अपने आपको हाइड्रेट करने के अतिरिक्त हमें और कोई खास टूल नहीं चाहिए। बेंगलुरु जैसी सिटी में जहां सड़क का ट्रैफिक और जाम लोगों के लिए एक बड़ी सिरदर्द बन चुका है, वहां ऑफिस से चार-पांच किलोमीटर के दायरे में रहने वाले लोग अकसर यह सोचते हैं कि आटो या कैब से जाने की बजाय क्यों न पैदल ही ऑफिस आया जाया जाए। ये एक ऑफिस जाने का अच्छा विकल्प है, जिससे एक्सरसाइज भी होती है, पैसा भी बचता है और समय से पहुंच जाते हैं। हालांकि सप्ताह में एक या दो दिन ही ऐसा करना किसी हद तक सही है, लेकिन यदि आपको भी रोज पैदल ऑफिस जाने के लिए इतनी दूरी तय करनी पड़ती है, तो इसके नुकसान भी हो सकते हैं।

पैरों में दर्द

ज्यादा चलने के कारण एड़ी, टखने और पंजों में दर्द होने लगता है। एड़ी से हड्डियों को पैर की अंगुलियों से जोड़ने वाले लिगामेंट में सूजन आ सकती है। क्योंकि चलने से पैरों पर बार-बार तनाव पड़ता है। ब्रेक लिए बिना लंबी दूरी तक पैदल चलना, चप्पल पहनकर चलना या फिट जूते के बिना चलना पैरों में दर्द की वजह बन सकता है। ज्यादा खुले या ज्यादा फिट जूते पहनने से या नये जूते पहनकर ज्यादा पैदल चलने से भी पैरों में छाले और दर्द की समस्या हो सकती है।

मांसपेशियों में दर्द

ज्यादा पैदल चलने से पिंडलियों में दर्द होता है। यह दर्द चलने के 24 से 48 घंटों के बाद इतना ज्यादा बढ़ जाता है कि दो कदम भी चलना मुश्किल हो जाता है। इसके अलावा ज्यादा चलने से घुटने और जोड़ों में होने वाला दर्द कूल्हों पर दबाव डालता है, जिससे पूरे शरीर के जोड़ों में दर्द होता है। पैरों और टखनों में सूजन आ सकती है, जिससे पैरों के टिश्यूज में फ्लूड जम जाता है। पिंडलियों में ऐंठन, पैर में दर्द की शिकायत कई दिन तक बनी रहती है।

थकान और एनर्जी कम होना

ज्यादा पैदल चलने से शरीर पस्त हो जाता है और थकान इतनी ज्यादा बढ़ जाती है कि एक दिन पैदल चलने के बाद अगले दिन ऑफिस जाकर काम करने की इच्छा नहीं होती, क्योंकि शरीर में ऊर्जा की कमी हो जाती है।

दिल पर भी हो सकता है बुरा असर

जो लोग पहले से ही स्वास्थ्य समस्या का सामना कर रहे हैं या जो दिल संबंधी बीमारी से पीड़ित हैं, ज्यादा पैदल चलने से उनके दिल पर अनावश्यक दबाव पड़ता है। हृदय की धड़कन व ब्लड प्रेशर बढ़ सकता है। ऐसे लोग पैदल चलने से पहले खुद को वार्मअप करें।

डिहाइड्रेशन

लंबी दूरी तक पैदल चलने से शरीर में ज्यादा पसीना आता है, जिससे हमारे शरीर में पानी और इलेक्ट्रोलाइट्स की कमी हो सकती है। चलने के दौरान अगर आप बिल्कुल भी पानी नहीं पीते तो चक्कर आना, थकान या बेहोशी भी हो सकती है।

नींद न आना

पैदल चलना अच्छी नींद लाने में सहायक होता है। लेकिन जरूरत से ज्यादा पैदल चलने से हमारे शरीर में कोर्टिसोल हार्मोन की मात्रा बढ़ जाती है, जिससे नींद नहीं आती।

रोग जिनमें बरतें एहतियात

गठिया, दिल संबंधी बीमारियों, प्रेग्नेंट महिलाओं, आस्टियोपोरेसिस, न्यूरोपैथी जैसी स्वास्थ्य परेशानियों से जूझने वाले लोगों को ज्यादा पैदल चलने से बचना चाहिए। इन रोगों में हड्डियां कमजोर हो जाती हैं और पैदल चलने से जब मांसपेशियों पर दबाव ज्यादा पड़ता है तो समस्या ज्यादा बढ़ सकती है। कमर और पीठ में भी लगातार दर्द रहने लगता है।

इन बातों का रखें ख्याल

जो लोग लगातार कई किलोमीटर ऑफिस की दूरी पैदल चलकर तय करते हैं, तो उन्हें कुछ बातों के विषय में सचेत रहना चाहिए। क्योंकि 10 हजार कदम रोज चलना स्वास्थ्य के विशेषज्ञों के नजरिये से फायदेमंद होता है यानी प्रतिदिन 35-40 मिनट ब्रिस्क वॉक हमारे लिए फायदेमंद हो सकती है। ज्यादा पैदल चलना और ज्यादा खतरनाक होते हैं जब आप खाली पेट होते हैं। इससे शरीर में ग्लूकोज लेवल कम हो जाता है तो हमारा शरीर मांसपेशियों के प्रोटीन का उपयोग करना शुरू कर देता है, जिससे मांसपेशियों में कमजोरी आने लगती है। खाली पेट चलने से ब्लड शुगर अचानक गिर सकता है और चक्कर आ सकते हैं। बेहतर है पैदल चलने से पहले हल्का नाश्ता करें, जिसमें फल विशेष तौरपर केला, मेवे या फलों का जूस लें। वहीं पर्याप्त पानी पीएं। -इ.रि.सें.

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