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प्रजापति समाज को साधने का नायब सरकार का मास्टर स्ट्रोक

2000 गांवों में कुम्हार परिवारों को 5-5 एकड़ पंचायती भूमि
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मुख्यमंत्री नायब सैनी।
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हरियाणा की राजनीति में प्रजापति/कुम्हार समाज का वोट बैंक छोटा नहीं है। 2024 में सत्ता में आने के बाद नायब सरकार ने इसे साधने के लिए बड़ा कदम उठा लिया है। सदियों से बर्तन बनाने का काम कर रहे इस समाज को अब कानूनी और स्थायी तौर पर पंचायती भूमि पर काम करने का अधिकार मिल रहा है। राज्य के करीब 2000 गांवों में 5-5 एकड़ जमीन चिह्नित कर पात्र परिवारों को संयुक्त रूप से काम करने की अनुमति दी गई है।

मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने इस योजना का ऐलान प्रजापति सम्मेलन में किया था और अब इसे सिर्फ दो महीने में अमल में लाया जा रहा है। 13 अगस्त को प्रदेशभर में प्रमाण-पत्र वितरण समारोह होंगे। यानी एक बड़े वोट बैंक को ‘सम्मान’ और ‘सुरक्षा’ का पैगाम। देने का काम नायब सरकार करेगी। पहले पंचायती जमीन पर कुम्हार परिवारों का काम पंचायत बदलने के बाद राजनीति का शिकार हो जाता था।

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अब पात्रता प्रमाण-पत्र मिलने के बाद यह बाधा खत्म हो जाएगी। यह कदम सीधे-सीधे संदेश देता है कि सरकार न सिर्फ इनके रोजगार की गारंटी दे रही है, बल्कि इन्हें गांव की राजनीति से ऊपर उठाकर अधिकार भी दे रही है। इस कार्यक्रम को लेकर सरकार ने पूरा ‘पॉलिटिकल शो ऑफ स्ट्रेंथ’ तैयार किया है। मुख्यमंत्री कुरुक्षेत्र में चार जिलों – कुरुक्षेत्र, कैथल, करनाल व यमुनानगर के कार्यक्रम में रहेंगे, जबकि बाकी जिलों में मंत्रियों और सांसदों की मौजूदगी रहेगी।

13 अगस्त को पूरा हरियाणा इस फैसले के जरिए नायब सरकार के साथ एकजुटता का प्रदर्शन देखेगा। बिजली, परिवहन व श्रम मंत्री अनिल विज अंबाला, सिंचाई मंत्री श्रुति चौधरी भिवानी, भिवानी-महेंद्रगढ़ सांसद धर्मबीर सिंह चरखी दादरी, राजस्व एवं आपदा प्रबंधन मंत्री विपुल गोयल फरीदाबाद, उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री राव नरबीर सिंह गुरुग्राम, पीडब्ल्यूडी व जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी मंत्री रणबीर सिंह गंगवा हिसार, खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री राजेश नागर झज्जर तथा डिप्टी स्पीकर कृष्ण लाल मिढ्ढा जींद के कार्यक्रम में मुख्यातिथि होंगे।

स्वास्थ्य मंत्री आरती सिंह राव महेंद्रगढ़, राज्यसभा सांसद किरण चौधरी नूंह, खेल मंत्री गौरव गौतम पलवल, राज्यसभा सांसद रेखा शर्मा पंचकूला, शिक्षा मंत्री महिपाल सिंह ढांडा पानीपत, निर्दलीय सांसद कार्तिकेय शर्मा रेवाड़ी, सहकारिता मंत्री डॉक्टर अरविंद शर्मा रोहतक, राज्यसभा सांसद सुभाष बराला सिरसा तथा कुरुक्षेत्र सांसद नवीन जींदल सोनीपत के कार्यक्रम में बतौर मुख्यातिथि शिरकत करेंगे। मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी ने इस आयोजन को लेकर सभी मंडलायुक्तों एवं जिला उपायुक्तों को हिदायतें जारी की हैं।

चुनावी गुणा-भाग भी

राजनीतिक जानकारों का मानना है कि यह फैसला सिर्फ कल्याणकारी योजना नहीं, बल्कि सोची-समझी चुनावी रणनीति है। प्रजापति समाज का असर ग्रामीण सीटों पर निर्णायक माना जाता है। खासतौर पर जाटलैंड और गैर-जाट बेल्ट दोनों में यह समाज अहम भूमिका निभाता है। इस कदम से बीजेपी को न सिर्फ इस समाज का भरोसा मिलेगा, बल्कि विपक्ष के लिए चुनावी समीकरण बिगाड़ने की संभावना भी बनेगी। सूत्रों के अनुसार, इस योजना को जमीन पर उतारने में पीडब्ल्यूडी मंत्री रणबीर सिंह गंगवा की अहम भूमिका रही है, जिन्होंने जिलों से जमीन चिह्नित करवाने और प्रक्रिया तेज करने का काम किया।

जिलों से आई थी रिपोर्ट

सीएम की घोषणा के बाद सीएमओ (मुख्यमंत्री कार्यालय) के अधिकारियों ने जिला उपायुक्तों से रिपोर्ट मांगी। प्रदेशभर से आई रिपोर्ट के बाद 2000 के लगभग गांवों में जमीन चिह्नित की गई। साथ ही, पात्र परिवारों को चिह्नित किया गया। अब 13 अगस्त को सभी जिलों में होने वाले कार्यक्रमों में इन परिवारों को पात्रता प्रमाण-पत्र सौंपे जाएंगे।

ज्वाइंट तौर पर करेंगे काम

गांव में चिह्नित की गई पांच एकड़ जमीन रहेगी तो पंचायती ही लेकिन इस पर कब्जा पात्र परिवारों का रहेगा। ज्वाइंट तौर पर ये परिवार इस जमीन पर मिट्टी के बर्तन बनाने का अपना काम कर सकेंगे। जमीनों के अभाव में बर्तन बनाने का काम करने वाले परिवारों को कई तरह की परेशानी सामने आ रही थी। सूत्रों का कहना है कि पीडब्ल्यूडी मंत्री रणबीर सिंह गंगवा ने यह परियोजना सिरे चढ़वाने में बड़ी भूमिका अदा की है।

पंचायत बदलने से नहीं पड़ेगा फर्क

बेशक, पहले भी गांवों में पंचायती जमीन पर प्रजापति समाज के लोग बर्तन बनाने का काम करते रहे हैं लेकिन गांव की राजनीति की वजह से उन्हें आमतौर पर परेशानी होती थी। पंचायत बदलने के बाद कई बार नये चुने गए जनप्रतिनिधि इन लोगों को काम करने से रोकते थे। अब जमीन अलॉट होने और पात्रता प्रमाण-पत्र मिलने के बाद इन परिवारों को पंचायत बदलने के बाद भी काम करने से कोई रोक नहीं सकेगा।

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