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PGI Chandigarhमें योग दिवस बना चेतना, चिकित्सा और सामूहिक ऊर्जा का संगम

अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर 3,350 प्रतिभागियों ने साधा सामूहिक संतुलन, निदेशक प्रो. विवेक लाल ने दिया गूढ़ संदेश
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चंडीगढ़, 21 जून (ट्रिन्यू)

सुबह की ठंडी हवा, हरी दूब पर रखे योग मैट और मौन में डूबी चैतन्य ऊर्जा—PGIMER परिसर के यवनीका जैसे शांत कोने में आज कुछ अलग ही अनुभव था। डॉक्टर, नर्स, छात्र, प्रोफेसर, बच्चे—सब अपनी भूमिकाओं से बाहर आकर एक साझा लय में सांस ले रहे थे। यह केवल योग नहीं था, यह अपने भीतर लौटने का उत्सव था। और इसी अनुभूति के साथ PGIMER, चंडीगढ़ ने 11वां अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाया।

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यह आयोजन संस्थान के CCRYN - सहयोगी केंद्र द्वारा आयोजित किया गया, जिसमें 3,350 से अधिक लोगों ने भाग लिया। इसमें डॉक्टर, स्वास्थ्यकर्मी, शिक्षक, कर्मचारी, छात्र और उनके परिवार शामिल रहे। योग सत्र का नेतृत्व PGIMER योग केंद्र के प्रमाणित प्रशिक्षकों ने किया, जिसमें कॉमन योग प्रोटोकॉल (CYP) का अभ्यास हुआ—जिसे PGI ने वैज्ञानिक रूप से प्रमाणित भी किया है।

योग शरीर नहीं, चेतना की लय है : प्रो. विवेक लाल

पीजीआई के निदेशक प्रो. विवेक लाल ने उपस्थितजनों को संबोधित करते हुए कहा कि योग आंतरिक और बाह्य चेतना का सामंजस्य है। यह हमें हमारी ऊर्जा, विचार और भावनाओं के बीच संतुलन सिखाता है। आज के यांत्रिक समय में योग शांति और स्थिरता का सबसे सशक्त साधन है। मैं चाहता हूं कि हर छात्र, फैकल्टी और कर्मचारी इसे जीवन की सतत यात्रा में शामिल करें।

योग, चिकित्सा और शोध का मिलन

इस अवसर पर डीन (शैक्षणिक) प्रो. आर. के. राठौ, डीन (अनुसंधान) प्रो. संजय जैन, उपनिदेशक (प्रशासन) पंकज राय, चिकित्सा अधीक्षक प्रो. विपिन कौशल, वित्त सलाहकार रविंदर सिंह और योग केंद्र प्रभारी प्रो. अक्षय आनंद ने भी विचार साझा किए। सभी वक्ताओं ने योग के चिकित्सा उपयोग, अनुसंधान की प्रासंगिकता और संस्थान के प्रयासों को विस्तार से रखा।

प्रो. अक्षय आनंद ने बताया कि योग केंद्र अब तक 153 ओपीडी मरीजों को योग चिकित्सा प्रदान कर चुका है। संस्थान के 19 विभागों में वर्कप्लेस योग ब्रेक नियमित रूप से आयोजित किए जाते हैं, जिससे कर्मचारियों में कार्यस्थल पर तनाव प्रबंधन को बढ़ावा मिला है। SMET, DRT, MSRT और QRT जैसी वैज्ञानिक योग तकनीकों के माध्यम से मानसिक स्वास्थ्य सुधार की दिशा में काम हो रहा है।

IAYT मॉडल की लॉन्चिंग और युवा शोधकर्ताओं का सम्मान

PGIMER और बेंगलुरु स्थित S-VYASA विश्वविद्यालय के सहयोग से विकसित Integrated Approach of Yoga Therapy (IAYT) मॉडल को आज निदेशक द्वारा औपचारिक रूप से लॉन्च किया गया।

इस मॉडल के अंतर्गत पुराने कमर दर्द के मरीजों को समग्र योग चिकित्सा दी जा रही है।

इस कार्य में महत्वपूर्ण योगदान देने वाले डॉ. बलराजा, डॉ. इशिता सूद, डॉ. नवनीत, डॉ. कनुप्रिया और डॉ. पूजा को विशेष रूप से सम्मानित किया गया।

संगीत, सामूहिक साधना और साझा ऊर्जा

कार्यक्रम में कॉमन योग प्रोटोकॉल के अतिरिक्त एक संगीतात्मक योग सत्र भी हुआ, जिसने प्रतिभागियों को मानसिक रूप से आनंदित किया। कार्यक्रम को वार्डों और इमरजेंसी ड्यूटी पर तैनात कर्मचारियों के लिए लाइव स्ट्रीम किया गया, ताकि कोई भी इस ऊर्जा से वंचित न रहे।

योग मैट, टी-शर्ट और जलपान की व्यवस्थाओं ने सहभागिता को और ऊर्जावान बनाया।

एक दिन नहीं, एक आंदोलन

PGIMER के योग केंद्र द्वारा नियमित रूप से भर्गव ऑडिटोरियम के पीछे पार्क में रोगियों के परिजनों और आमजन के लिए योग सत्र आयोजित किए जा रहे हैं।

बच्चों के लिए भी PGI फैकल्टी एसोसिएशन के सहयोग से विशेष योग कक्षाएं चलाई जा रही हैं, जो उन्हें शुरुआत से ही स्वास्थ्य और संतुलन की ओर प्रेरित करती हैं।

समापन पर धन्यवाद और संकल्प

कार्यक्रम के समापन पर डॉ. नवनीत ढिल्लों ने आयोजन की सफलता में योगदान देने वाले सभी विभागों, कर्मचारियों, विद्यार्थियों और स्वयंसेवकों का धन्यवाद ज्ञापित किया।

उन्होंने राकेश मित्तल, सतविंदर, राजपूत, ओंकार सिंह और PGI वेलफेयर एसोसिएशन को विशेष रूप से धन्यवाद दिया, जिनकी मदद से मैट और टी-शर्ट जैसी सामग्री उपलब्ध हो सकी।

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