पंचकूला से चंडीगढ़ तक जाते जाते बदल गई वार्डबंदी को लेकर बनायी लिस्ट!
सरकार ने की विपक्ष की अनदेखी : वरुण चौधरी
सरकार द्वारा गठित की गई कमेटी पर अंबाला लोकसभा सांसद वरुण चौधरी ने सरकार के सबका साथ-सबका विकास नारे पर तंज कसते हुए कहा कि यह नारा केवल कागजों तक सीमित है, धरातल पर सरकार मनमानी करने के साथ विपक्ष की अनदेखी कर रही है। इसका सबसे बड़ा उदाहरण, पंचकूला नगर निगम में गठित की गई वार्डबंदी कमेटी है, जिसमें सत्ता पक्ष के पार्षदों को ही शामिल किया गया है। सरकार की ओर गठित वार्डबंदी का नोटिफिकेशन जारी किया गया है, जिसमें केवल सत्ता पक्ष से जुड़े पार्षदों के ही नाम शामिल हैं। वरुण ने सवाल उठाया कि जब वार्डबंदी में सत्ता पक्ष से जुड़े पार्षद व नेता शामिल होंगे तो वार्ड परिसीमन में मनमानी चलेगी और सत्ता पक्ष से जुड़े लोग अपने मन मुताबिक वार्डबंदी कराएं।
उपायुक्त के प्रस्तावित नामों को किया नज़रंदाज : चंद्रमोहन
पंचकूला के विधायक चंद्रमोहन ने आरोप लगाते कहा कि पंचकूला उपायुक्त की ओर से 28 जुलाई 2025 को शहरी स्थानीय निकाय महानिदेशक को वार्ड परिसीमन के लिए पांच सदस्यों के नामों का प्रस्ताव भेजा गया था, इनमें जय कुमार कौशिक, सोनू, संदीप सिंह, गौतम प्रसाद और रितू शामिल थीं। जबकि शहरी निकाय विभाग की ओर से 16 सितंबर 2025 को जारी नोटिफिकेशन में जयकुमार कौशिक, सोनू व रितू को शामिल किया गया है, जबकि उपायुक्त द्वारा प्रस्तावित संदीप सिंह और गौतम प्रसाद की जगह हरिंद्र मलिक और नरेंद्र पाल सिंह लुबाना को शामिल किया गया है।
दोबारा बनाई जाए कमेटी : नवीन बंसल
पंचकूला जिला कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और एडवोकेट नवीन बंसल ने कहा कि हरियाणा नगर निगम वार्ड परिसीमन नियम, 1994 में स्पष्ट उल्लेख है कि विभिन्न समूहों या वर्गों से संबंध रखने वाले सदस्यों को एडहॉक कमेटी का सदस्य बनाया जाएगा, जिसमें सत्ता पक्ष और विपक्ष के पार्षदों के साथ गणमान्य लोग भी सम्मिलित किए जा सकते हैं। उन्होने कहा कि पंचकूला में यह नियम पूरी तरह से नकार दिया गया है। इसक लिए इस कमेटी को दोबारा बनाया जाए।