पत्नी के विरोध के बाद हरियाणा के IPS वाई. पूरन कुमार आत्महत्या मामले में FIR में जोड़ी गईं नई धाराएं
IPS Suicide case: हरियाणा के आईपीएस अधिकारी वाई पूरन कुमार की कथित आत्महत्या के मामले में पत्नी और वरिष्ठ आईएएस अधिकारी अमनीत पी. कुमार के आपत्ति जताने के बाद चंडीगढ़ पुलिस ने एफआईआर में एससी/एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम की नई...
IPS Suicide case: हरियाणा के आईपीएस अधिकारी वाई पूरन कुमार की कथित आत्महत्या के मामले में पत्नी और वरिष्ठ आईएएस अधिकारी अमनीत पी. कुमार के आपत्ति जताने के बाद चंडीगढ़ पुलिस ने एफआईआर में एससी/एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम की नई धारा जोड़ दी है।
अमनीत ने पुलिस से शिकायत की थी कि एफआईआर में “कमजोर धाराएं” लगाई गई हैं और धारा 3(2)(v) जोड़ी जानी चाहिए, जो अनुसूचित जाति/जनजाति के व्यक्ति के खिलाफ गंभीर अपराधों पर आजीवन कारावास तक की सजा का प्रावधान रखती है।
छह सदस्यीय एसआईटी का नेतृत्व कर रहे चंडीगढ़ के आईजी पुष्पेन्द्र कुमार ने इसकी पुष्टि की है। अब एफआईआर में यह धारा शामिल कर ली गई है। पूरन कुमार के परिवार ने पोस्टमॉर्टम की अनुमति अभी तक नहीं दी है और उनकी मांगों पर कार्रवाई की प्रतीक्षा कर रहा है।
बता दें, हरियाणा सरकार ने रोहतक एसपी नरेंद्र बिजारनिया को हटा दिया है और सुरिंदर सिंह भोरिया को नया एसपी नियुक्त किया गया है। पूरन कुमार की पत्नी ने बिजारनिया और डीजीपी शत्रुजीत कपूर के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि “दोषी चाहे कोई भी हो, कार्रवाई अवश्य होगी” और विपक्ष से अपील की कि मामले को राजनीतिक रंग न दें। मृतक अधिकारी के समर्थन में गठित “शहीद वाई पूरन सिंह न्याय संघर्ष मोर्चा” ने रविवार को चंडीगढ़ में महापंचायत बुलाई है।