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भूस्खलन से मोरनी के कई रास्ते अभी भी बंद, रूट पर हुआ बस ट्रायल

पर्यटकों को करना होगा इंतजार
भारी बारिश के बाद पहाड़ी का मलबा गिरने से मोरनी-पंचकूला मार्ग अभी भी अवरुद्ध है। -हप्र
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एस.अग्निहोत्री/हप्र

पंचकूला, 15 जुलाई

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हरियाणा के इकलौते पर्वतीय पर्यटन स्थल मोरनी पहुंचने के लिए अभी पर्यटकों को इंतजार करना पड़ेगा। पंचकूला से मोरनी जाने वाले

दोनों रास्ते पंचकूला-नाडा साहब-मोरनी और पंचकूला-चंडीमंदिर-मोरनी बरसात के कारण पहाड़ का मलबा गिरने से बंद पड़े है।

हालांकि रोडवेज की ओर से शनिवार को बस का ट्रायल लिया गया लेकिन पहाड़ी रास्ते अभी सुचारू नहीं हुए हैं जिससे यहां जान जोखिम में डाल कर सफर हो रहा है।

जानकारी के मुताबिक बरसात ने मोरनी की सड़कों की हालत खस्ता कर दी है। मोरनी के मुख्य मार्गों पर मलबा और पत्थर गिरे हुए हैं। चंडीमंदिर मार्ग खेड़ा बागडा से पीछे ही कई जगह अवरूद्ध है। इसी प्रकार नाडा साहब मार्ग भी फिलहाल अवरुद्ध है। मोरनी के एक टीचर धीरज शर्मा का कहना है कि वह दोपहिया वाहन पर सवार होकर मोरनी से पंचकूला आए लेकिन रास्ता अभी बेहद खराब है। उन्होंने कहा कि शनिवार को पंचकूला से मोरनी के लिए दोपहर पौने 3 बजे बस भी चली गई लेकिन रास्ता सही नहीं हो पाया है। अगर रविवार को रास्ते पर युद्ध स्तर पर काम किया जाए तो मोरनी में आवागमन सुचारू हो सकता है।

रायपुरानी मार्ग से जा रहे हैं लोग

मोरनी से त्रिलोकपुर होकर रायपुररानी मार्ग पर बस सेवा चल रही है जोकि पंचकूला आती है लेकिन इसमें समय डबल लगता है। लोगों का कहना है कि शीघ्र रास्ते सुचारू किए जायें।

अंदरूनी सड़कें भी खराब

मोरनी से बड़ीशेर, मोरनी से टीपरा, धामण, मोरनी-नीमवाला, टिक्करताल-मोरनी-रायपुरानी सड़कों की हालत भी ठीक नहीं है। हालांकि इन सड़कों पर लोक निर्माण विभाग कार्य करवा रहा है, बावजूद इसके, रफ्तार ढीली है।

युद्ध स्तर पर चले मरम्मत कार्य : प्रदीप चौधरी

विधायक प्रदीप चौधरी ने कहा कि मोरनी पहाड़ी इलाके के लोगों पर बारिश आफत बन कर टूटी है। लोगों के घर गिर गए और रास्ते बंद हो गए जिससे रोजाना की जरूरतें भी पूरी नहीं हो रहीं। उन्होंने कहा कि सैलानियों की सैरगाह मोरनी की मुख्य सड़कें अवरूद्ध होने से जनता परेशान है। उन्होंने कहा कि पंचकूला-नाड़ा साहब -मोरनी और पंचकूला -चंडीमंदिर -मोरनी पर कार्य युद्ध स्तर पर चलना चाहिए तभी दिक्कतें दूर होगी।

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