चंडीगढ़, 4 जुलाई (ट्रिन्यू)
फोर्टिस मोहाली में पहला लीडलेस पेसमेकर इम्प्लांटेशन सफलतापूर्वक किया गया। लीडलेस पेसमेकर एक विटामिन कैप्सूल के आकार के होते हैं। यह उन रोगियों के लिए सहायक है जिन्हें पेसमेकर की आवश्यकता होती है और उनके फेफड़ों में उच्च दबाव भी होता है। डॉ. अरुण कोचर के नेतृत्व में डॉक्टरों की एक टीम ने परमानेंट लीडलेस पेसमेकर लगाकर मरीज का अत्याधुनिक तकनीक से इलाज किया। कार्डियोलॉजी विभाग के एडिशनल डायरेक्टर डॉ. अरुण कोचर ने बताया, 83 वर्षीय बुजुर्ग महिला का सफलतापूर्वक इलाज किया गया। पारंपरिक पेसमेकर की तुलना में, लीडलेस पेसमेकर का आकार लगभग 90 प्रतिशत छोटा होता है।