सीजीसी लांडरां में संवाद सत्र आयोजित
चंडीगढ़ ग्रुप ऑफ कॉलेजेज़ (सीजीसी) लांडरां ने विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस के अवसर पर छात्रों और कर्मचारियों के लिए एक जागरूकता वार्ता और संवादात्मक सत्र आयोजित किया। कार्यक्रम का उद्देश्य भावनात्मक स्वास्थ्य और आत्महत्या रोकथाम के महत्व पर प्रकाश डालना था।
छात्र कल्याण विभाग द्वारा आयोजित इस सत्र में प्रसिद्ध मनोचिकित्सक और लेट्स बी ओके की सह-संस्थापक डॉ. हरवंदन कौर बेदी, सहायक प्रोफेसर एवं परामर्श मनोवैज्ञानिक डॉ. करुणा सिंह तथा मनोवैज्ञानिक एवं काउंसलर सुश्री गुरलीन कौर बतौर पैनलिस्ट शामिल हुईं। निदेशक, छात्र कल्याण एवं पूर्व छात्र मामले डॉ. गगनदीप कौर भुल्लर ने अतिथियों का स्वागत किया।
कार्यक्रम की शुरुआत एक नाट्य प्रस्तुति से हुई, जिसमें मानसिक स्वास्थ्य पर साथियों के दबाव और भावनात्मक संघर्षों को दिखाया गया। इसने आत्महत्या रोकथाम से जुड़े मुद्दों पर पैनल चर्चा का आधार तैयार किया। विशेषज्ञों ने मानसिक स्वास्थ्य जागरूकता, भावनात्मक लचीलापन और खुली बातचीत के महत्व पर जोर दिया। डॉ. करुणा सिंह ने गंभीर तनाव की स्थिति में परिवार और भरोसेमंद लोगों से संवाद करने की सलाह दी, जबकि डॉ. हरवंदन कौर बेदी ने प्रतिभागियों को अपनी भावनाएं साझा करने के लिए प्रोत्साहित किया।
सत्र के दौरान छात्रों व कर्मचारियों ने शैक्षणिक दबाव, करियर चुनौतियां, रिश्ते, साइबर बुलिंग, नशे की लत और अकेलेपन जैसे विषयों पर प्रश्न पूछे। विशेषज्ञों ने समाधान के तौर पर मित्र प्रणाली, ‘भावनाओं का पहिया’ जैसी तकनीक और एसीई (पूछो, देखभाल करो, अनुरक्षण करो) मॉडल को अपनाने की बात कही। उन्होंने 24x7 हेल्पलाइन और ‘टेली-मानस’ (14416) जैसी सेवाओं के उपयोग पर भी प्रकाश डाला। कार्यक्रम का समापन आत्महत्या रोकथाम पर आधारित एक लघु फिल्म और धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ।