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कंप्यूटर शिक्षकों पर वाटर कैनन

पंचकूला, 24 जुलाई (ट्रिन्यू) स्वीकृत पदों पर समायोजित करने और वेतन वृद्धि की मांग को लेकर शिक्षा सदन का घेराव करने जा रहे कंप्यूटर शिक्षकों पर पुलिस ने आज फिर हैफेड चौक पर वाटर कैनन का प्रयोग किया। इससे दो शिक्षक घायल हो गये। एसोसियेशन ने चेतावनी दी है कि यदि 9 अगस्त तक मांगों […]
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पंचकूला, 24 जुलाई (ट्रिन्यू)

पंचकूला में मंगलवार को कंप्यूटर शिक्षकों को आगे बढ़ने से रोकती पुिलस। -दैनिक ट्रिब्यून

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स्वीकृत पदों पर समायोजित करने और वेतन वृद्धि की मांग को लेकर शिक्षा सदन का घेराव करने जा रहे कंप्यूटर शिक्षकों पर पुलिस ने आज फिर हैफेड चौक पर वाटर कैनन का प्रयोग किया। इससे दो शिक्षक घायल हो गये। एसोसियेशन ने चेतावनी दी है कि यदि 9 अगस्त तक मांगों को पूरा नहीं किया गया तो दस अगस्त से पंचकूला में आमरण अनशन शुरू किया जायेगा। कंप्यूटर टीचर्स वेल्फेयर एसोसियेशन के आह्वान पर आज फिर कंप्यूटर शिक्षक सेक्टर पांच में धरना स्थल पर एकत्र हुये। सभा की और दोपहर बाद वे शिक्षा सदन का घेराव करने के लिये जुुलूस के रूप में निकले। पुलिस ने शिक्षकों को हैफेड चौक पर रोक लिया। जब शिक्षकों ने बेरिकेड्स से आगे बढ़ने का प्रयास किया तो उन पर पानी की बौछारें छोड़ी गईं । दो शिक्षक हन्नी और शिवानी घायल हो गये। एसोसियेशन के प्रधान बलराम धीमन ने इस मौके पर बताया कि 25 जुलाई को एक प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव आरके खुल्लर से मिलकर दोनों मांगों को पूरा करने की अपील करेगा।
उन्होंने बताया किहै करीब 7 महीने पहले मुख्यमंत्री ने बैठक कर प्रदेश के कंप्यूटर टीचर्स का वेतन बढ़ाने की घोषणा की थी जो पहली जनवरी से लागू होनी थी मगर 7 महीने बीत जाने के बाद भी आदेश लागू नहीं हुये। केवल उनकी सेवा अवधि बढ़ाई गई है। उन्होंने कहा कि इस समय प्रदेश में करीब 2150 कंप्यूटर टीचर्स कार्यरत हैं। विभाग में 3216 सहायक शिक्षक(कंप्यूटर साइंस)के पद खाली हैं। इन पदों पर कंप्यूटर शिक्षकों को समायोजित किया जाना चाहिये। शिक्षक करीब दो महीने से आंदोलन पर हैं पर सरकार उनकी जायज मांगों को भी गंभीरता से नहीं ले रही है। इससे शिक्षकों में रोष है। प्रदेश के सरकारी स्कूलों में कंप्यूटर शिक्षक 2013 से कार्यरत हैं। सेवायें अस्थायी होने के कारण हर समय उन्हें भविष्य की चिंता रहती है। करीब साढ़े चार बजे शिक्षक हैफेड चौक से वापस धरना स्थल पर लौट आये। प्रदर्शनकारियों में महिला शिक्षक भी शामिल थीं।

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