नयी दिल्ली, 15 सितंबर (एजेंसी)
भारत ने संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (यूएनएचआरसी) में कश्मीर मुद्दा उठाने पर बुधवार को पाकिस्तान और इस्लामिक सहयोग संगठन (ओआईसी) की तीखी आलोचना की। जिनेवा में भारत के स्थायी मिशन के प्रथम सचिव पवन बाधे ने कहा कि ओआईसी ने लाचार होकर खुद पर पाकिस्तान को हावी हो जाने दिया। किसी देश के अंदरूनी मामलों में टिप्पणी करने का उसे कोई हक नहीं है। यूएनएचआरसी के 48वें सत्र में उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को वैश्विक स्तर पर एक ऐसा देश करार दिया गया है, जो संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित आतंकवादियों सहित अन्य आतंकियों का सरकार की नीति के तहत खुल कर समर्थन करता है, प्रशिक्षण देता है, फंडिंग करता है और हथियार मुहैया करता है।
भारतीय राजनयिक ने जवाब देने के अधिकार का इस्तेमाल करते हुए कहा कि विश्व के सबसे बड़े व जीवंत लोकतंत्र भारत को पाकिस्तान जैसे नाकाम मुल्क से सबक सीखने की जरूरत नहीं है, जो आतंकवाद का केंद्र है और मानवाधिकारों का घोर हनन करता है। बाधे ने कहा कि भारत के खिलाफ अपने झूठे और दुर्भावनापूर्ण दुष्प्रचार के लिए यूएनएचआरसी के मंच का दुरुपयोग करने की पाकिस्तान की आदत हो गयी है। भारतीय राजनयिक ने कहा कि पाकिस्तान सिख, हिंदू, ईसाई और अहमदिया सहित अपने अल्पसंख्यक समुदायों के अधिकारों की रक्षा करने में नाकाम रहा है। पाकिस्तान में अल्पसंख्यक समुदायों के उपासना स्थलों, उनकी सांस्कृतिक धरोहरों व उनकी निजी संपत्ति पर हमले तथा हिंसा की घटनाएं खुली छूट के साथ हुई हैं। हजारों की संख्या में महिलाओं व लड़कियों का अपहरण किया गया, जबरन शादियां कराई गई।