रोहतक, 12 अप्रैल (हप्र)
महम में गंभीर पेयजल संकट के चलते महमवासी सोमवार को राज्यसभा सांसद रामचंद्र जांगड़ा से मिले व उन्हें ज्ञापन सौंपकर समस्या के निदान की मांग की। उन्होंने बताया कि कई जगह पानी चार दिन बाद आता है। सांसद ने आश्वासन देते हुए कहा कि जल्द ही मुख्य लाइनों में अवैध रूप से लगाए गए कनेक्शनों को कटवाया जाएगा। इसके अलावा बलंबा माइनर से जलघर तक आने वाले पानी के खुले नाले को बंद पाइपों में बदलवाया जाएगा ताकि खेतों में होने वाली पानी की चोरी को रोका जा सके।
पार्षद बसंत लाल गिरधर ने बताया कि महम कस्बे की विभिन्न जगहों पर स्थित कुएं व तालाब रद्द हो चुके हैं। यदि दोबारा से कुओं व तालाबों के नवनिर्माण पर सरकार ध्यान दे तो काफी हद तक महम में पानी की समस्या का समाधान हो सकता है। उन्होंने सांसद को बताया कि बाहरी कालोनियों में लगाए गए सबमर्सिबल व हैंडपंपों का पानी खारा हो गया है। पानी का स्टॉक करने के लिए शहर के चारों ओर बने चार तालाब अवैध कब्जे व प्रशासन की अनदेखी की भेंट चढ़ चुके हैं। प्रशासनिक अधिकारी कुओं व तालाबों का नव निर्माण करने के लिए कोई ध्यान नहीं दे रहे हैं।
अवैध कनेक्शनों के कारण नहीं आता पानी
पार्षद वेदप्रकाश धवन, जन अधिकार मंच के प्रधान राजेश जिंदल, ऋषि भारद्वाज आदि ने कहा कि महम शहर में 36 हजार लोग रहते हैं। इनकी प्यास बुझाने के लिए शुगर मिल व बीडीपीओ कार्यालय के नजदीक दो जलघर बनाए गए हैं। जलघरों से बूस्टरों तक आने वाली मुख्य लाइनों में सैकड़ों लोगों ने अवैध कनेक्शन कर लिए हैं। इससे पूरा पानी टैंकों में नहीं आ पा रहा। विभाग ने इन्हें हटाने की ओर कोई ध्यान नहीं दिया। विभाग हर दिन की बजाए चौथे दिन पानी की सप्लाई देता है जिससे शहरवासियों को दिक्कतें आने लगी हैं। लोगों को पानी की पूर्ति करने के लिए नई जगहों पर विभाग कोई नया ट्यूबवेल नहीं लगा रहा।