चंडीगढ़/रोहतक, 20 सितंबर (ट्रिन्यू/निस)
कांग्रेस वर्किंग कमेटी सदस्य व राज्यसभा सदस्य दीपेंद्र हुड्डा ने केंद्र की भाजपा सरकार पर बड़ा हमला बोल दिया है। उनका कहना है कि कृषि से जुड़े तीन नये कानूनों के जरिये सरकार ने किसानों को कारपोरेट घरानों के हवाले करने की दिशा में कदम बढ़ा दिया है। ये नये कानून न केवल किसानों के लिए नुकसानदायक है बल्कि उन करोड़ों परिवारों को भी इनसे नुकसान होगा जिन्हें पीडीएस योजना के तहत सस्ता राशन मिलता है। रविवार को जारी एक बयान में दीपेंद्र ने कहा, आज का दिन किसानों और संसद के लिए ‘काला दिवस’ है। किसानों की आपत्तियों को नजरअंदाज करके और विपक्ष की आवाज दबाते हुए बतिना वोटिंग के ही राज्यसभा में इन किसान विरोधी कानूनों को पास करना दुर्भाग्यपूर्ण है। दीपेंद्र ने कहा, मुझे इस बात की टीस है कि कोरोना पॉजिटिव होने की वजह से वे राज्यसभा में नहीं जा सके। वे वहां संसद पटल पर तर्कसंगत तरीके से अपनी बात सरकार के कानों तक पहुंचाते।
उन्होंने कहा, ठीक होते ही अस्पताल से सीधा संसद जाऊंगा और किसानों की मांग सरकार के सामने जोरदार तरीक से उठाऊंगा। नये कानूनों से न केवल किसान बल्कि आढ़ती समेत रह उस गरीब आदमी को बड़ा नुकसान होगा, जिसे राशन कार्ड पर आटा, अनाज और दाल आदि मिलते हैं।
नये कानून किसान पर थोपकर, न्यूनतम समर्थन मूल्य प्रणाली और मंडली व्यवस्था को कमजोर करने के बाद स्वाभाविक रूप से सरकार का अगला प्रहार सार्वजनिक वितरण प्रणाली पर ही होगा।