मेरी दी गयी साड़ी पहनी वित्त मंत्री ने, सपना सच हुआ
बनाने में लगता है एक माह से अधिक समय
कलाकार दुलारी देवी ने बताया कि साड़ी तैयार करने में एक महीने से अधिक का समय लगा। मधुबनी जिले के रांटी गांव की निवासी देवी को कला में उनके योगदान के लिए 2021 में पद्मश्री से सम्मानित किया गया था। देवी मधुबनी चित्रशैली की ‘कछनी' (रेखाचित्र) और ‘भरनी' (रंगीन) दोनों शैलियों में पांरगत हैं। विशेषज्ञों ने उनके काम को ‘सामुदायिक परंपराओं को आधुनिक विषयों के साथ जोड़ने' के रूप में वर्णित किया है।
पाठ्यक्रम में शामिल है काम
दुलारी देवी के काम की विस्तृत जानकारी कुछ विश्वविद्यालयों में संचालित मैथिली भाषा के पाठ्यक्रम सामग्री के हिस्से के रूप में दी गई है। देवी ने भारत में केंद्र और राज्य सरकारों के लिए कई भित्ति चित्र बनाए हैं और बच्चों को मधुबनी कला तकनीक सिखाती हैं। वह मधुबनी में मिथिला कला संस्थान में प्रशिक्षक भी हैं। कोविड-19 लॉकडाउन के प्रभाव को दर्शाने वाली उनकी पेंटिंग को कई विदेशी विश्वविद्यालयों ने भी अधिग्रहित किया है। सीतारमण के मधुबनी चित्रशैली युक्त साड़ी पहनने पर टिप्पणी करते हुए बिहार के उद्योग विभाग की सचिव बंदना प्रेयसी ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स' पर जारी पोस्ट में कहा, ‘केंद्रीय वित्त मंत्री ने संसद में केंद्रीय बजट-2025 पेश करने के लिए पद्मश्री दुलारी देवी द्वारा बनाई गई मधुबनी साड़ी पहनी। जब हमने बिहार संग्रहालय, पटना में महिला और कला प्रदर्शनी का आयोजन किया था, तब मुझे दुलारी देवी और अन्य लोगों से मिलने का सौभाग्य मिला था। शानदार कार्य।'