नयी दिल्ली, 6 जून (एजेंसी)
केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय की तरफ से रविवार को जारी ‘परफॉर्मेंस ग्रेडिंग इंडेक्स’ (पीजीआई) 2019-20 में स्कूली शिक्षा के क्षेत्र में पंजाब, चंडीगढ़, तमिलनाडु, अंडमान एवं निकोबार द्वीपसमूह और केरल को उच्चतम ए++ श्रेणी मिली है। दिल्ली, गुजरात, हरियाणा, राजस्थान, पुडुचेरी, दादरा और नागर हवेली को ए+ श्रेणी प्राप्त हुई है। इस सूचकांक में 70 मानकों पर स्कूली शिक्षा में राज्यों के प्रदर्शन का विश्लेषण किया गया है।
पंजाब ने सर्वाधिक अंक शासन और प्रबंधन में अर्जित किये। आधारभूत ढांचे और सुविधाओं के लिहाज से बिहार और मेघालय का प्रदर्शन सबसे कमतर रहा। अंडमान एवं निकोबार द्वीपसमूह और ओडिशा ने आधारभूत ढांचे के क्षेत्र में 2019-20 और 2018-19 में उल्लेखनीय सुधार दिखाया है।
रिपोर्ट में कहा गया कि इन्फ्रास्ट्रक्चर व सुविधाओं के मामले में 13 राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों ने 10 फीसदी का सुधार दिखाया। इससे यह संकेत मिलता है कि राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों ने अपने आधारभूत ढांचों और सुविधाओं में सुधार की दिशा में कार्यवाही शुरू कर दी है, अलबत्ता ये कहीं कम तो कहीं ज्यादा है।
केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने रविवार को ट्विटर पर यह ग्रेडिंग इंडेक्स साझा किया। इसके अनुसार ‘गवर्नेंस प्रोसेस’ में 19 राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों ने 10 फीसदी या उससे ज्यादा का सुधार दिखाया है। अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, आंध्र प्रदेश, अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, पंजाब, राजस्थान तथा पश्चिम बंगाल ने कम से कम 20 फीसदी का सुधार दिखाया है। शिक्षा मंत्री निशंक ने कहा कि 33 राज्यों एवं केंद्र शासित राज्यों ने पिछले साल के अपने अंकों के मुकाबले प्रदर्शन में सुधार किया है।
रिपोर्ट में कहा गया, ‘हालांकि, यह सामान्य जानकारी है कि शिक्षकों, प्राचार्यों और प्रशासनिक कर्मियों की कमी, नियमित पर्यवेक्षण और निरीक्षण की कमी, शिक्षकों का अपर्याप्त प्रशिक्षण, समय पर धन की उपलब्धता जैसे कुछ कारक हैं, जिनसे देश में शिक्षा व्यवस्था चरमरा रही है, यह पहली बार है कि कोई ऐसा माध्यम है जो इनकी पुष्टि करता है।’ इसमें कहा गया, पीजीआई के जरिये कमियों को निष्पक्ष और नियमित रूप से आंका जा सकता है।