मुंबई, 8 सितंबर (एजेंसी)
महाराष्ट्र के गृहमंत्री अनिल देशमुख ने कहा है कि मुंबई पुलिस अभिनेता अध्ययन सुमन के उन आरोपों की जांच करेगी जिसमें उन्होंने कंगना रनौत पर मादक पदार्थ लेने का आरोप लगाया है। उधर बीएमसी भी अभिनेत्री कंगना रनौत के खिलाफ एक्शन में आ गई है। बीएमसी ने यहां स्थित कंगना के बंगले के बाहर यह नोटिस चिपका दिया है कि मंजूरी के बिना बंगले में कई बदलाव किए गए हैं।
गृहमंत्री अनिल देशमुख ने यहां पत्रकारों से बातचीत में कहा कि शेखर सुमन के बेटे अध्ययन एक समय कंगना के साथ रिश्ते में थे और उन्होंने कंगना पर मादक पदार्थ का सेवन करने का आरोप लगाया है। ‘मुंबई पुलिस इस मामले की जांच करेगी।’ देशमुख ने कहा कि विधानसभा में इस मुद्दे को उठाया गया था और ‘मैंने इसका जवाब देते हुए बताया कि वह अध्ययन सुमन के साथ रिश्ते में थीं जिन्होंने साक्षात्कार में कहा कि वह मादक पदार्थ लेती थीं और उन्हें भी लेने के लिए दबाव डालती थी।।’
गौरतलब है कि यह मामला कथित तौर पर मादक पदार्थ लेने के आरोप में रिया चक्रवर्ती के खिलाफ एनसीबी की जांच के बीच आया है।
24 घंटे में मांगा जवाब
बीएमसी के अधिकारियों ने कंगना रनौत के यहां स्थित बंगले के बाहर एक नोटिस चिपकाकर कहा है कि मंजूरी के बिना इसमें कई बदलाव किए गए हैं। नगर निकाय के अनुसार बीएमसी की टीम उपनगर बांद्रा में अभिनेत्री के पाली हिल बंगले गई थी। वहां नोटिस लेने वाला कोई नहीं था, जिस वजह से नोटिस को वहां चिपका दिया गया। अधिकारी ने बताया कि नोटिस में बंगले में एक दर्जन से ज्यादा बदलावों को रेखांकित किया गया है और रनौत से 24 घंटे में इसका जवाब देने को कहा है।
कंगना की टिप्पणी पुलिस का अपमान
महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता देवेंद्र फडणवीस ने अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत के मामले के संदर्भ में अभिनेत्री कंगना रनौत द्वारा की गई टिप्पणी की निंदा करते हुए इसे पुलिस बल के ‘अपमान’ के बराबर बताया। रनौत ने हाल में कहा था कि उन्हें ‘मूवी माफिया’ से अधिक डर मुंबई पुलिस से लगता है और वह हिमाचल प्रदेश या केंद्र सरकार से सुरक्षा लेना चाहेंगी। विधानसभा में फडणवीस ने कहा कि वह मुंबई पुलिस की क्षमता को जानते हैं क्योंकि उन्होंने 5 साल तक राज्य के मुख्यमंत्री के तौर पर काम किया है। उन्होंने साथ ही कहा, ‘लेकिन पुलिस राजनीतिक दबाव में आ सकती है।…राजपूत की मौत के मामले को जिस तरह से संभाला गया वह ‘ गलत’ था, इसलिए जांच सीबीआई को सौंपी गई।