प्रतिभा चौहान/टि्रन्यू
शिमला, 26 अगस्त
टाउन एंड कंट्री प्लानिंग (टीसीपी) एक्ट के दायरे से बाहर ग्रामीण क्षेत्रों में सभी निर्माण गतिविधियां जल्द ही ग्राम पंचायतों द्वारा रेगुलेट की जाएंगी। ग्राम पंचायतें ही गांवों में भवन नक्शों को मंजूरी प्रदान करेंगी ताकि बेतरतीब निर्माण गतिविधि को विनियमित किया जा सके। यह कदम हाईकोर्ट के निर्देशों के मद्देनजर आया है कि सभी ग्रामीण क्षेत्रों सहित पूरे राज्य को योजना क्षेत्र के रूप में माना जाना चाहिए जहां भवन मानदंड लागू होते हैं। ग्रामीण विकास और पंचायती राज विभाग ने निर्माण दिशानिर्देश तैयार करने में टाउन एंड कंट्री प्लानिंग विभाग से मार्गदर्शन मांगा था, जिसे अंतिम रूप दे दिया गया है। मसौदा दिशानिर्देश अंतिम चरण में है और परामर्श के बाद उन्हें जल्द ही सरकार की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। बताया जाता है कि अदालत का यह आदेश कसौली में एक सहायक नगर योजनाकार की हत्या के बाद आया है। हालांकि हिमाचल में सभी 56 शहरी स्थानीय निकाय, 57 योजना क्षेत्रों और 35 विशेष क्षेत्र विकास प्राधिकरणों (एसएडीए) के अंतर्गत आते हैं, लेकिन इनके आसपास के कई ग्रामीण क्षेत्रों में तेजी से निर्माण गतिविधि देखी जा रही है, चाहे वह होटल, गेस्ट हाउस, रियल एस्टेट के रूप में हो अथवा संपत्ति परियोजनाएं या शैक्षणिक संस्थान जैसे स्कूल, नर्सिंग या बीएड कॉलेज के रूप में हो।