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कृषि विभाग में लाखों रुपए के घोटाले में शामिल आरोपियों की संपत्ति की हो जांच : विक्रम कसाना

कैथल, 14 जुलाई (हप्र) युवा भाकियू प्रदेशाध्यक्ष (चढूनी) अधिवक्ता विक्रम कसाना ने कहा कि कृषि विभाग कैथल में लाखों रुपए रिश्वत घोटाले में शामिल सभी दोषियों पर सख्त कार्रवाई नहीं होती और उनके चेहरे बेनकाब नहीं होते तब तक भाकियू...

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ढांड में रविवार को युवा भाकियू प्रदेशाध्यक्ष विक्रम कसाना किसानों के साथ कृषि घोटाले की जांच की मांग करते हुए। -हप्र
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कैथल, 14 जुलाई (हप्र)

युवा भाकियू प्रदेशाध्यक्ष (चढूनी) अधिवक्ता विक्रम कसाना ने कहा कि कृषि विभाग कैथल में लाखों रुपए रिश्वत घोटाले में शामिल सभी दोषियों पर सख्त कार्रवाई नहीं होती और उनके चेहरे बेनकाब नहीं होते तब तक भाकियू चुप नहीं बैठेगी। उन्होंने कहा कि घोटाले की सच्चाई जनता के सामने लाने व दोषियों को सलाखों के पीछे भेजने के लिए भाकियू किसानों को एकजुटकर धरने, प्रदर्शन कर सरकार के नाम ज्ञापन भेजने का सिलसिला जारी रखेगी। ढांड बस स्टैंड के पास स्थित भाकियू कार्यालय में किसान नेता विक्रम कसाना ने किसानों के साथ कृषि घोटाले की जांच की मांग करते हुए कहा कि कृषि विभाग में रिश्वत का खेल काफी लंबे समय से चल रहा था और भोले-भाले धरतीपुत्र किसानों के नाम पर अधिकारी व कर्मचारी एक साजिश के तहत अपनी जेबें भरने में लगे हुए है। विभाग की मनमर्जी का खामियाजा किसानों को घटिया स्तर की कृषि क्षेत्र में प्रयोग होने वाली रोजमर्रा की चीजों को महंगे दामों के रूप में खरीदने की सूरत में भुगतना पड़ रहा था। किसान नेता विक्रम कसाना ने कहा कि भ्रष्टाचार में शामिल अधिकारियों व कर्मचारियों पर कार्रवाई के साथ उनकी संपत्ति की जांच भी की जाए, ताकि जनता को भी पता चल सके कि किसी तरह अधिकारियों व कर्मचारियों ने दोनों हाथों से किसानों के नाम पर लूट मचाई। किसान नेता विक्रम कसाना ने कहा कि कृषि विभाग के डीडीए को सस्पेंड करना ही काफी नहीं है, सरकार बिना देरी किए मामले की जांच उच्चस्तरीय कमेटी से करवाकर इस लाखों रुपए रिश्वत घोटाले की निष्पक्ष जांच करवाए, ताकि कोई भी दोषी बच ना सके और भविष्य में किसानों के नाम पर लूट ना मचा सके। विक्रम कसाना ने दो टूक चेतावनी देते हुए कहा कि अगर सरकार ने इस मामले को ठंडे बस्ते में डालने या लीपातोपी करके इतिश्री करने का कार्य किया तो भाकियू चुप नहीं बैठेगी और कृषि विभाग के कार्यालय का घेराव कर आंदोलन छेड़ देगी। जिसकी सारी जिम्मेवारी सरकार व प्रशासन की होगी।

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