पूंडरी, 4 मई (निस)
अनाज मंडी पूंडरी में गेहूं का सीजन लगभग समाप्त हो चुका है, लेकिन मंडी के किसानों की खरीद एजेंसियों की तरफ अटकी लगभग 45 करोड़ रुपये पेमेंट किसानों व आढ़तियों के लिए सिरदर्द बनी हुई है। सरकार के तकनीकी सिस्टम का खामियाजा किसान भुगत रहे हैं। सरकार द्वारा पूंडरी मंडी को बारदाना मुक्त करने की घोषणा के बाद मंडी का गेहूं सीधा साइलो गोदाम सोलुमाजरा भेजा गया, लेकिन साइलो गोदामों में कोई भी पूंडरी मंडी के नाम से आईडी नहीं थी जिसके चलते मार्केट कमेटी पूंडरी द्वारा किसानों के गेट पास जो सोलुमाजरा साइलो गोदाम के नाम से काटने थे, वो पूंडरी मंडी के नाम से काटे गये। जो गेहूं सीजन शुरू होने के 6 अप्रैल से 12 अप्रैल तक काटे गये। इस दौरान हैफेड व डीएफएससी खरीद एजेंसी के माध्यम से साइलों गोदामों में मंडी के किसानों का लगभग 45 करोड़ रुपये का गेहूं जा चुका था। अब समस्या ये सामने आई कि आढ़तियों द्वारा जो जे व आई फार्म काटे गये वो कहीं भी ई-पोर्टल पर जरनेट नहीं हो रहे थे, क्योंकि पूंडरी मंडी के नाम से कोई आईडी नहीं थी और अगर जरनेट करने की कोशिश करते तो वे ढांड मंडी में होते या फिर वो मजदूरी व मंडी खर्चों समेत हो रहे थे। जिसके चलते किसानों की पेमेंट नहीं की गई।
चेयरमैन गोलन से की बात
न मार्केट कमेटी के और न ही डीएफएससी के अधिकारी इस तकनीकी खराबी को ठीक करने के लिए तैयार हैं। रोष स्वरूप मंडी फूडग्रेन डीलर एसोसिएशन के प्रधान ध्यानचंद मूंदड़ी ने आढ़तियों के साथ चेयरमैन एवं विधायक रणधीर गोलन से बात की। चेयरमैन ने उच्चाधिकारियों से बात कर किसानों की पेमेंट करने निर्देश दिये। जिसके बाद पता चला कि अगले दो दिनों तक पेमेंट हो जाने की उम्मीद है।
पेमेंट रुकने का मामला उनके संज्ञान में अभी आया। मंडी प्रधान ध्यानचंद ने उन्हें अवगत करवाया कि किसानों की 45 करोड़ रुपये की पेमेंट अटकी पड़ी है जिसके बाद उन्होंने तुरंत संबंधित उच्चाधिकारियों से बात कर पेमेंट करने के आदेश दिये हैं और अगले दो या तीन दिनों तक पेमेंट हो जायेगी।Rs
-रणधीर गोलन, चेयरमैन हरियाणा पर्यटन निगम