चंडीगढ़, 29 सितंबर (ट्रिन्यू)
प्रदेश में डायल 112 सेवा शुरू होने के उपरांत इमरजेंसी रिस्पांस व्हीकल यानी ईआरवी द्वारा लोगों को समय पर पहुंचाई जा रही मदद से एक तरफ जहां लोगों का पुलिस के प्रति विश्वास और बढ़ा है, वहीं पुलिस की कार्यप्रणाली में भी काफी पारदर्शिता आई है।
डायल 112 हेल्पलाइन के माध्यम से कॉल करने वाले व्यक्ति को त्वरित राहत पहुंचाई जा रही है। विभागीय कार्रवाई के तहत ड्यूटी में कोताही बरतने वाले पुलिस कर्मचारियों से स्पष्टीकरण भी मांगा जा रहा है। अगस्त माह में प्रदेश में डायल 112 हेल्पलाइन पर कॉल करने वाले लोगों को अनुमानित: 8 मिनट 28 सेकंड में पुलिस मदद पहुंचाई गई है जोकि एक रिकॉर्ड समय है।
पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर ने शुक्रवार को बताया कि विभाग द्वारा डायल-112 हेल्पलाइन के लिए कॉलर तक शहरी क्षेत्र में 15 मिनट व ग्रामीण क्षेत्र में 20 मिनट के अंदर पहुंचने की समय सीमा तय की गई है। उन्होंने बताया कि कंट्रोल रूम में 12 जुलाई 2021 से लेकर 30 अगस्त 2023 तक 1 करोड़ 22 लाख लोगों ने पुलिस सहायता के लिए कॉल किया। जिनमें से ईआरवी पर तैनात पुलिसकर्मियों के कार्य से 92.92 प्रतिशत कॉलर्स ने संतुष्टि जाहिर की।
विलंब से पहुंची गाड़ियों से मांगा जा रहा है स्पष्टीकरण : पुलिस महानिदेशक ने बताया कि डायल-112 सेवा की शुरुआत के साथ ही एक नियम यह भी जोड़ा गया है कि त्वरित सेवा में विलंब होने पर संबधित ईआरवी के स्टाफ से इसका स्पष्टीकरण लिया जाए। उन्होंने बताया कि यदि ईआरवी निर्धारित समयावधि तक घटनास्थल पर नहीं पहुंच पाती तो विभागीय कार्रवाई के तहत उनसे स्पष्टीकरण मांगा जाता है।
डायल 112 सेवा में कार्यरत सभी 628 ईआरवी जीपीएस सिस्टम से लैस है जिससे सभी ईआरवी को ट्रेस करने में आसानी रहती है। कपूर ने बताया कि सभी ईआरवी पर 24 घंटे में दो शिफ्ट के तहत कुल 5 हजार पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगाई गई है। एक शिफ्ट में एक वाहन पर 3 पुलिस कर्मचारी तैनात किए गए हैं। उन्होंने कहा कि अब आपातकालीन सेवाओं के लिए अलग अलग नम्बर डायल करने की बजाय आपात सेवाएं पुलिस, अग्निशमन, ट्रेफिक, साइबर हेल्पलाइन, एनएचएआई, आपदा प्रबंधन हेल्पलाइन, मेडिकल हेल्पलाइन व एम्बुलेंस के लिए अपने फोन से 112 डायल कर इसका लाभ ले सकते हैं।
प्रदेश सरकार ने पुलिस की आपात सेवा डायल 100, अग्निशमन के लिए 101 व मेडिकल सर्विसिज के लिए डायल 108, ट्रैफिक हेल्पलाइन के लिए 1073, साइबर हेल्पलाइन के लिए 1930, महिला हेल्पलाइन के लिए 1091, एनएचएआई के लिए 1033, आपदा प्रबंधन के लिए के लिए हेल्पलाइन नंबर- 1077 व 1070 सेवा को मर्ज कर डायल 112 से जोड़ दिया है। अब किसी भी आपात स्थिति में इस नंबर को डायल कर उपर्युक्त सेवाओं का लाभ ले सकते है।
चार भाषाओं में दी जा रही सेवा
हेल्पलाइन 112 पर शिकायतकर्ता चार भाषाओं हिंदी, अंग्रेजी, हरियाणवी व पंजाबी में अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते हैं, इसके लिए कंट्रोल रूम में विशेष रूप से प्रशिक्षित लोगों की नियुक्तियां की गई हैं।