चंडीगढ़, 2 सितंबर (ट्रिन्यू)
हरियाणा की भाजपा-जेजेपी गठबंधन सरकार द्वारा मानसून सत्र के दौरान पास किए गए हरियाणा डेवलेपमेंट एंड रेगुलेटिंग एक्ट-1975 के नियम-3(ए) संशोधन बिल को लेकर नया बखेड़ा खड़ा हो गया है। सरकार ने गैर-कानूनी रजिस्ट्रियों पर रोक लगाने के नाम पर कानून में संशोधन किया है। मगर विपक्ष इस संशोधन को बिल्डरों व बड़ी कंपनियेां के हित में मान रहा है। पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने विधानसभा के मानसून सत्र में ही संशोधन को लागू करने की अवधि पर एतराज जताया था। महम से निर्दलीय विधायक बलराज कुंडू ने सरकार के इस संशोधन विधेयक के खिलाफ हरियाणा राजभवन में राज्यपाल सत्यदेव नारायण आर्य के एडीसी जशदीप सिंह को ज्ञापन सौंपकर राज्यपाल से मांग की कि वे संशोधन विधेयक को मंजूरी देने की बजाय इसे वापस लौटाएं।
ज्ञापन देने के बाद मीडिया से बातचीत में कुंडू ने आरोप लगाया कि राज्य सरकार ने करीब 45 साल पुराने नगरीय क्षेत्र विकास तथा विनियमन कानून में बदलाव कर बड़े बिल्डरों को राहत देने का रास्ता साफ कर दिया है। ऐसे करीब पांच दर्जन बिल्डर हैं, जिन्हें इस कानून में बदलाव का बड़ा फायदा मिलने वाला है। कुंडू ने कहा कि ज्ञापन के साथ वे तमाम दस्तावेज भी राज्यपाल को दिए हैं, जिनमें प्रापर्टी के मामलों में पंजाब एवं हाईकोर्ट के फैसले आए हुए हैं।