जींद, 28 मई (हप्र)
अखिल भारतीय राज्य सरकारी कर्मचारी महासंघ से संबंधित सर्व कर्मचारी संघ (एसकेएस) हरियाणा के आह्वान पर रविवार को यहां प्रदेश स्तरीय चेतावनी रैली में पहुंचे कर्मचारियों ने राज्य सरकार के खिलाफ आवाज बुलंद की।
हरियाणा के सभी जिलों से कर्मचारी अपनी मांगें लिखी हुई पट्टियां एवं बैनर लेकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए पहुंचे। रैली की अध्यक्षता एसकेएस के प्रांतीय प्रधान धर्मबीर फौगाट ने की, जबकि संचालन महासचिव नरेश कुमार ने किया। रैली में ऐलान किया गया कि मांगों के लागू होने तक आंदोलन जारी रहेगा तथा विधायकों एवं मंत्रियों से जवाब भी मांगा जाएगा। प्रदेशाध्यक्ष धर्मबीर फौगाट ने कहा कि भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए बड़ी तेजी से सार्वजनिक सेवा के क्षेत्र का निजीकरण कर रही है। जनसेवाओं के विस्तार न होने से रोजगार के अवसर कम हो रहे हैं। हम लगातार मांग कर रहे हैं कि सभी कच्चे कर्मचारियों को पक्का, पुरानी पेंशन बहाली, समान काम समान वेतन, आठवें आयोग का गठन, वेतन विसंगतियां दूर करने, लिपिक का वेतन 35400 रुपये, आउटसोर्सिंग, ठेका प्रथा, निजीकरण की नीतियों पर रोक, जोखिम भत्ता देने, 18 माह के डीए का भुगतान, पेंशनर्ज को 65-70-75 व 80 वर्ष के उपरांत 5 प्रतिशत की वृद्धि आिद की लंबे समय से मांग की जा रही है, लेकिन सरकार इन पर ध्यान नहीं दे रही। रैली को कर्मचारी महासंघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुभाष लाम्बा, एसकेएस के पूर्व महासचिव सत्यपाल सिवाच, किसान नेता फूल सिंह श्योकन्द व बलबीर सिंह, सीटू की राज्य अध्यक्ष सुरेखा, रिटायर्ड कर्मचारी संघ के अध्यक्ष जरनैल सिंह सांगवान, नरेश शास्त्री, धर्मेंद्र ढांडा व अन्य ने संबोधित किया।
चरणबद्ध आंदोलन का ऐलान
प्रदेशाध्यक्ष फौगाट ने कहा कि सभी राजनैतिक पार्टी के अध्यक्षों व विधायकों को मांग पत्र व ज्ञापन देकर जवाब मांगा जाएगा। इसके बाद सभी जनप्रतिनिधियों पंच, सरपंच, ब्लॉक समिति सदस्य, पार्षद व जिला पार्षदों से जन समर्थन मांगा जाएगा। मांग पत्र में शामिल सभी मांगों के लागू होने तक आंदोलन जारी रहेगा। रैली के मंच से अंतर्राष्ट्रीय महिला पहलवानों का दिल्ली में जंतर मंतर पर एवं यमुनानगर में अध्यापक संघ के चल रहे आंदोलन का भी समर्थन किया गया।