घरौंडा, 8 अप्रैल (निस)
पेमेंट का फैसला किसानों पर ही छोड़ने और लिफ्टिंग प्रक्रिया मैनुअल किए जाने की मांगों को लेकर मंडी एसोसिएशन ने अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू कर दी है। हड़ताल होने के कारण न तो खरीद का कार्य हो पाया और न ही तुलाई का काम हो पाया। मंडी में गेहूं लेकर पहुंचे किसानों को भी दिक्कतों का सामना करना पड़ा है।
मंडी व्यापारियों के हड़ताल पर चले जाने से प्रशासन के सामने एक नयी समस्या उत्पन्न हो गयी है। इस समस्या से निपटने के लिए मार्किट कमेटी प्रबंधन डिपो होल्डरों की मदद ले रहा है। जिसको लेकर लाइसेंस बनाने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। डिपो होल्डरों की लेबर गेहूं की सफाई और तुलाई का कार्य करेगी।
वहीं, मंडी आढ़तियों का कहना है कि जब तक सरकार उनकी मांगों को नहीं मानती तब तक हड़ताल जारी रहेगी। मंडी एसोसिएशन के प्रधान रामलाल गोयल का कहना है कि सरकार ने पेमेंट के फैसले को किसानों पर छोड़ने का आश्वासन दिया था। लेकिन अब सरकार अपने फैसले से मुकर रही है।
स्ट्राइक के बावजूद मंडी में भारी मात्रा में गेहूं पहुंची।
उपमंडलाधिकारी डॉ. पूजा भारती ने मंडी अधिकारियों और खरीद एजेंसियों के इंस्पेक्टरों के साथ मीटिंग की और मंडी में गेहूं खरीद व्यवस्था को सुचारु करने के निर्देश दिए। किसानों की गेहूं मंडी में पहुंच रही है। यदि जल्द से जल्द खरीद का कार्य शुरू नहीं होता है तो मंडी में भीड़ बढ़ती चली जाएगी।
पल्लेदारों की सरकार के खिलाफ नारेबाजी
बाबैन (निस) : सरकार द्वारा मंडियों में काम करने वाले पल्लेदारों की गेहूं भराई, तुलाई आदि की मजदूरी अब मंडी के व्यापारियों के माध्यम से करने की बजाए किसानों के माध्यम से करने के विरोध में मंडी के पल्लेदारों ने आज मंडी में हड़ताल कर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। बाबैन पल्लेदार यूनियन के प्रधान मिंटू ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहाकि यदि सरकार ने उनकी मजदूरी के पैसों का भुगतान फिर से आढ़तियों के माध्यम से नहीं किया तो वे न तो स्वयं मंडियों में पल्लेदारी का काम करेंगे और न ही किसी अन्य को मंडियों में काम करने देंगे। इस अवसर पर पल्लेदार मांगे राम, जयसिंह, दलीप, बहादुर, विनोद, शत्रुघ्न, रमेश, कमलके अलावा सैंकड़ों पल्लेदार मौजूद रहे।
नारेबाजी करने पहुंचे आढ़ती एवं किसान
तरावड़ी (निस) : मंडी में गेहूं खरीद को लेकर मंडी आढ़तियों को गेहूं खरीद की जानकारी मिली कि डिपो होल्डरों के माध्यम से गेहूं खरीद करने का प्लान तैयार किया जा रहा है। उसके बाद मंडी में आढ़तियों का जमावड़ा लगाना शुरू हो गया तथा सैकड़ों की संख्या में मंडी आढ़ती वहां पर जमा हो गए और सरकार के खिलाफ नारेबाजी करने लगे। मंडी एसोसिएशन के अध्यक्ष वीरेन्द्र बंसल एवं सचिव बृज भूषण सांभली ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि सरकार इस बात को अच्छी तरह से जानती है कि आढ़तियों के बिना किसान का गुजारा नहीं है तथा किसानों के बिना आढ़तियों का गुजारा नहीं है।
आढ़ती हड़ताल पर, मंडी का कार्य ठप
शाहाबाद मारकंडा (निस) : हरियाणा स्टेट अनाजमंडी आढ़ती एसोसिएशन के निर्णय के अनुसार शाहाबाद अनाज मंडी में पूर्णतया हड़ताल रही और मंडी का कार्य ठप होकर रह गया। शाहाबाद अनाज मंडी आढ़ती एसोसिएशन के प्रधान एवं हरियाणा स्टेट अनाज मंडी आढ़ती एसोसिएशन के प्रधान स्वर्णजीत सिंह कालड़ा बिट्टू ने बताया कि आढ़तियों द्वारा केवल किसान की ट्राली को खाली करवा गया है ताकि किसान को परेशानी न झेलनी पड़े, लेकिन इसके अलावा मंडी में कोई कार्य नहीं किया गया। उन्होंने बताया कि राज्यस्तरीय कार्यकारिणी की बैठक में हरियाणा की मंडियों के सभी आढ़तियों ने सरकार को अल्टीमेटम दिया था कि अगर 7 अप्रैल तक आढ़तियों की सभी मांगें नहीं मानी जातीं तो 8 अप्रैल से कोई भी आढ़ती, मुनीम, मजदूर सरकार के लिए गेहूं का कार्य नहीं करेगा। निर्णय लिया गया है कि जब तक आढ़तियों की मांगें नहीं मानी जातीं, तब तक हरियाणा की मंडियों में कोई भी गेहूं का कार्य नहीं करेगा।
किसानों पर दर्ज केसों की फ्री पैरवी का फैसला
शाहाबाद मारकंडा (निस) : शाहाबाद बार एसोसिएशन के प्रधान संदीप टिवाना लण्ढी जो स्वयं एक प्रगतिशील किसान भी हैं ने बृहस्पतिवार को साफ कहा कि किसानों के विरुद्ध बनाए जा रहे मुकदमों की शाहाबाद बार एसोसिएशन निशुल्क पैरवी करेगी। उन्होंने सरकार से किसानों की मांगें अविलंब स्वीकार करने की मांग की और कहा कि किसानों के विरुद्ध मुकदमें दर्ज न करके उनकी समस्या का सम्मानजनक समाधान करें। उन्होंने सरकार से किसानों की न्यायोचित मांगें तुरंत स्वीकार करने तथा मुकदमे वापस लेने की भी मांग की। उन्होंने किसानों को भरोसा दिलाया है कि उनकी एसोसिएशन का समर्थन उनकी मांगों व किसान हित के लिए किए जा रहे संघर्ष में उनके साथ है।
मुस्तफाबाद में रही पूरी तरह स्ट्राइक
मुस्तफाबाद (निस) : अनाज मंडी सरस्वती नगर में आज पूरी तरह स्ट्राइक रही मंडी में आए किसानों जोगिंदर सिंह झाड़चंदना, वेद प्रकाश मंसूरपुर, गुरमीत तलाकौर, देवीदयाल खेड़ी, राम कुमार, राजेंद्र अंबली ने बताया कि उन्हें स्ट्राइक का पता नहीं था, इसीलिए गेहूं लेकर मंडी में आ गए सुबह से बैठे हैं। गेहूं कल तुलेगी। उन्होंने कहा कि सरकार की नयी नीतियां उन्हें परेशानी के अलावा कुछ नहीं दे रहीं, पहले वाली पॉलिसियां ही ठीक थीं।

नहीं हुई गेंहू की बोली
जगाधरी (निस) : अपनी मांगों के चलते आढ़तियों द्वारा बृहस्पतिवार को की गई हड़ताल का जगाधरी अनाज मंडी में असर रहा। जानकारी के अनुसार इसके गेंहू की बोली नहीं हो पाई। किसान गेंहू के पास इंतजार करते रहे। किसान अवतार सिंह का कहना था कि उनकी गेंहू की फौरी खरीद होनी चाहिए। वहीं मार्केट कमेटी के अधिकारी खरीद में सहयोग के लिए दिन भर राशन डिपो होल्डर्स से बात करते रहे। जगाधरी मार्केट कमेटी के सचिव ऋषिराज यादव ने बताया कि डिपो होल्डर्स से बात चल रही है। इनका सहयोग
भी लिया जाएगा। दूसरी ओर बृहस्पतिवार को आढ़तियों की हड़ताल का पूरा असर अनाज मंडी में दिखाई दिया। जिस कारण मात्र 25 क्विंटल गेहूं की आवक ही मंडी में हुई। सचिव कृष्ण कुमार मलिक ने बताया कि 25 क्विंटल की आवक हुई जिसे हैफेड ने खरीदा है। उन्होंने बताया कि एक दिन पहले 40 क्विंटल फसल की आवक हुई थी जिसे फूड एंड सप्लाई ने खरीदा है। उन्होंने कहा कि खरीद को लेकर तैयारियां पूरी हैं और हड़ताल के दौरान भी खरीद के पुख्ता प्रबंध किए गए हैं। उन्होंने कहा कि जो भी किसान मंडी में फसल लेकर आएगा साथ ही उसकी फसल बिक जाएगी।
मंडी में नहीं हो पाई गेहूं की खरीद
पानीपत (निस) : पानीपत अनाज मंडी में आढ़तियों की अपनी मांगों को लेकर हड़ताल के चलते बृहस्पतिवार को गेहूं की सरकारी खरीद नहीं हो पाई। वहीं, अकेले पानीपत अनाज मंडी में ही सैकड़ों किसानों की करीब 21 हजार क्विंटल गेहूं की फसल आयी हुई है और किसान दिनभर आढ़तियों की हड़ताल समाप्त होने का इंतजार करते रहे ताकि उनके गेहूं की खरीद हो सके। अनाज मंडी आढ़ती एसोसिएशन के प्रधान धर्मबीर मलिक ने बताया की सरकार आढ़तियों की मांगें नहीं मान रही है।