अम्बाला, 9 अगस्त (निस)
सरकार द्वारा वृद्धावस्था पेंशन के लिए आय सीमा की अंतिम समीक्षा व नए पेंशनरों के पंजीकरण में देरी को लेकर मुलाना से कांग्रेस विधायक वरुण चौधरी ने विधानसभा के मानसून सत्र के दौरान सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री के समक्ष प्रश्नकाल के दौरान सवाल रखा। इस पर राज्यमंत्री ने विधायक के सवाल पर बताया कि वृद्धावस्था सम्मान भत्ता हेतु आय सीमा की विगत समीक्षा वर्ष 2012 में की गई थी । वर्तमान में ऐसा व्यक्ति जिसकी सभी स्रोतों से वार्षिक आय 2 लाख रुपये से अधिक नहीं है। वृद्धावस्था सम्मान भत्ता के लिए पात्र है। दिनांक 22 मार्च 2012 तक यह सीमा 50,000 रुपये प्रति वर्ष थी। सरकार लाभार्थियों की पहचान के लिए प्रो-एक्टिव प्रणाली पर स्थानांतरित हो गई है, जिसमें सरकार सीधे लाभार्थियों से संपर्क करती है और परिवार पहचान पत्र पर सत्यापित आंकड़ों के आधार पर उनकी सहमति लेती है। विधायक ने कहा कि वृद्धावस्था पेंशन के लिए आय सीमा बढ़ाई जाए। राज्यमंत्री के जवाब पर विधायक ने विधानसभा में बोलते हुए कहा कि दस साल हो गए हैं आय की समीक्षा को इस बीच महंगाई बढ़ी है।
महंगाई भत्ता बढ़ा है तो बुजुर्गों का मान सम्मान वृद्धावस्था पेंशन इसकी समीक्षा सरकार ने पिछले 10 सालों में क्यों नहीं की है। हर ज़िले में हज़ारों पेन्शन काट दी गयी हैं,जिस कारण उनको सम्मान से जीवन जीना मुश्किल हो गया है।