पिहोवा, 26 जून (निस)
भले ही पालिका चुनाव सम्पन्न हो गए हैं। चुनाव जीतकर नये पार्षद बन गए। पार्षद चुने जाने पर वह जश्न मना रहे हैं।
पिहोवा नगरपालिका आज भी पुराने पार्षदों को ही पालिका पार्षद मान रही है। यह दीगर बात है कि एक वर्ष पूर्व 2021 में पालिकाएं भंग कर दी थीं तथा पार्षद भी पूर्व पार्षद बन गए थे।
वर्ष 2018 में स्थानीय पालिका ने प्रधान सहित सभी पार्षदों के घर के आगे नाम बोर्ड लगाए थे, ताकि लोगों को पार्षदों के घर की जानकारी मिल सके। वर्ष 2021 में पालिकाओं का कार्यकाल पूरा होने पर उन्हें सरकार ने भंग कर दिया था तथा पार्षद भी नहीं रहे थे। परन्तु नगरपालिका अधिकारियों ने इन नाम बोर्डों को नहीं हटाया। पार्षदों के नाम बोर्ड लगे रहे।
अब एक वर्ष बाद पालिका चुनाव भी हो गए। नये पार्षद भी चुने गए, परन्तु बोर्ड आज भी पुरानों को ही पार्षद बता रहे है। यह अलग बात है कि चुनावों के दौरान उम्मीदवारों ने इन बोर्डो पर अपने पोस्टर लगाकर प्रचार का काम लिया।
बोर्ड गलत जानकारी दे रहे हैं। पालिका अधिकारियों ने इस ओर कोई ध्यान नहीं दिया है।