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अनिल अंबानी पांच साल के लिए शेयर बाजार से बाहर

रिलायंस होम फाइनेंस में हेराफेरी : सेबी की सख्ती
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नयी दिल्ली, 23 अगस्त (एजेंसी)

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) ने उद्योगपति अनिल अंबानी और रिलायंस होम फाइनेंस के पूर्व प्रमुख अधिकारियों समेत 24 अन्य को कंपनी से धन के हेर-फेर के मामले में शेयर बाजार से पांच साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया है। सेबी ने अनिल अंबानी पर 25 करोड़ रुपये का जुर्माना भी लगाया है। वह पांच साल तक किसी भी सूचीबद्ध कंपनी या बाजार नियामक के साथ पंजीकृत किसी भी इकाई में निदेशक या प्रमुख प्रबंधकीय पद नहीं ले सकेंगे। साथ ही सेबी ने अपने आदेश में अनिल अंबानी को कोष को दूसरी कंपनियों में खपाने का ‘मास्टमाइंड' बताया।

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सेबी ने 24 इकाइयों पर 21 करोड़ रुपये से लेकर 25 करोड़ रुपये तक का जुर्माना लगाया है। साथ ही नियामक ने रिलायंस होम फाइनेंस को छह महीने के लिए शेयर बाजार से प्रतिबंधित कर दिया है और उस पर छह लाख रुपये का जुर्माना लगाया है।

रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड (आरएचएफएल) के धन की हेरा-फेरी की कई शिकायतें मिलने के बाद सेबी ने वित्त वर्ष 2018-19 की अवधि के लिए जांच की। सेबी ने पाया कि अनिल अंबानी ने आरएचएफएल के केएमपी अमित बापना, रवींद्र सुधालकर और पिंकेश आर. शाह की मदद से कंपनी से धन निकालने के लिए धोखाधड़ी की योजना बनाई। इसमें इस पैसे को कंपनी से जुड़ी इकाइयों को कर्ज के रूप में दिखाया गया था।

ऐसे हुई धांधली

सेबी ने बृहस्पतिवार को 222 पृष्ठ के अपने आदेश में कंपनी के प्रबंधन तथा प्रवर्तक के लापरवाह रवैये का जिक्र किया, जिसके तहत उन्होंने ऐसी कंपनियों को सैकड़ों करोड़ रुपये के ऋण स्वीकृत किए, जिनके पास न तो परिसंपत्तियां थीं, न ही नकदी प्रवाह, नेटवर्थ या राजस्व था। आदेश के अनुसार, इससे पता चलता है कि 'कर्ज' के पीछे कोई खतरनाक मकसद छिपा था। इनमें से कई कर्जदार आरएचएफएल के प्रवर्तकों से करीबी तौर पर जुड़े हुए हैं। आखिरकार इनमें से अधिकतर कर्ज लेने वाले उसका भुगतान करने में विफल रहे, जिसके कारण आरएचएफएल को अपने स्वयं के ऋण दायित्वों पर चूक करनी पड़ी। इस कारण आरबीआई ढांचे के तहत कंपनी का समाधान हुआ, जिससे इसके सार्वजनिक शेयरधारक मुश्किल स्थिति में आ गए। मिसाल के तौर पर मार्च, 2018 में आरएचएफएल का शेयर मूल्य करीब 59.60 रुपये था। मार्च, 2020 तक शेयर की कीमत गिरकर केवल 75 पैसे रह गई।

शेयर गिरे : सेबी के फैसले के बाद अनिल अंबानी की अगुवाई वाली कंपनियों के शेयरों में शुक्रवार को भारी गिरावट आई। आरएचएफएल का शेयर एनएसई पर 5.12 और बीएसई पर 4.90 प्रतिशत गिरा। रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर का शेयर बीएसई पर 10.83 प्रतिशत गिर गया।

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